क्या महंगाई के दौर में 200 रूपये काफी हैं: जयराम रमेश
समाचार एजेंसी पीटीआई से आई खबर के मुताबिक, प्रधानमंत्री को भेजे गए अपने पत्र में केंद्रीय मंत्री ने कहा है कि वृद्ध लोगों को मिलने वाली इस पेंशन को और भी बेहतर किया जाये।
16 मई को लिखे गए इस पत्र में जयराम रमेश ने कहा," मैं हमेशा से ये मानता आया हूं कि हम पेंशन के नाम पर जो भी धनराशी वृद्धजनों को दे रहे है वो किसी भी व्यक्ति की गरिमा के खिलाफ है।
ज्ञात हो कि केंद्रीय मंत्री जयराम रमेश ने ये मुद्दा पेंशन परिषद के संयोजक बाबा आधव और अरुणा रॉय के साथ हुई बैठक के फौरन बाद उठाया है। आपको बता दें की पेंशन परिषद ने मांग करते हुए कहा है कि पेंशन की रासी को फौरन ही 200 रूपये से बढ़ाया जाए, साथ ही इसे लागू करने के लिए गरीबी रेखा के नियम को हटाया जाए।
इसकी उम्र सीमा को पुरुषों के लिए 55 साल और महिलाओं के लिए 50 साल किया जाए। रमेश ने पेंशन परिषद की एक और मांग का समर्थन किया है जहां परिषद की मांग है की सरकार पेंशन योजना के तहत लाभार्थियों की पहचान के लिए गरीबी रेखा के नीचे और ऊपर के निर्धारण की प्रक्रिया न अपनाए साथ ही रमेश ने ये भी कहा है कि सम्बंधित व्यक्ति का बैंक खाता होना चाहिए और सरकार को चाहिए कि वो व्यक्ति का बैंक खाता भी खुलवाए।
आपको बताते चले की रमेश विशिष्ट पहचान संख्या का प्रस्ताव पहले ही दे चुके हैं। सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार अरुणा रॉय और पेंशन परिषद के बाकी अन्य सदस्य सोमवार को सोनिया गाँधी से इस पूरे मुद्दे पर चर्चा करेंगे। पेंशन परिषद से जुड़े सदस्यों की माने तो आजकल बुजुर्ग लोग भारी संकट का सामना कर रहे है और इस बात को बड़ी ही गंभीरता से लेना चाहिए।
गौरतलब है की इस पूरे मुद्दे को तमाम राजनैतिक दलों के अलावा राष्ट्रपति प्रतिभा देवी सिंह पाटिल का समर्थन पहले ही मिल चुका है।