भोजपुरी को आठंवी अनुसूची में शामिल करने की मांग फिर उठी
नयी दिल्ली. 14 मार्च ..वार्ता.. पूर्वी उत्तर प्रदेश और पश्चिम बिहार केबडे भूभाग में बोली जाने वाली भोजपुरी और देश के सबसे बडे राज्यराजस्थान की राजस्थानी भाषा को संविधान की आठवीं अनुसूची मेंशामिल करने की मांग आज लोकसभा में एक बार फिर उठी
जनता दल .यूनाईटेड. /जद.यू./के प्रभुनाथ सिहं ने शून्यकालके दौरान अध्यक्ष सोमनाथ चटर्जी के समक्ष अपनी यह मांग रखी
उन्होंने कहा कि सरकार के बार बार आश्वासन के बावजूद इसपर अभीतक अमल नहीं किया गया इसलिये वह अपनी यह मांग अध्यक्ष केसमक्ष रख रहे हैं1 उन्होंने श्री चटर्जी से आग्रह किया कि वह अपनीशक्तियों का इस्तेमाल करते हुये सरकार को इसपर अमल के लिये विवशकरें1 राजस्थान से भारतीय जनता पार्टी .भाजपा. सांसद गिरधारीलालभार्गव और रासासिहं रावत ने भी राजस्थानी भाषा को संविधान कीआठवीं अनुसूची में शामिल करने की मांग रखी1 अध्यक्ष ने सदस्यों कोआश्वस्त किया कि वह सरकार को उनकी मांगों से अपने स्तर परअवगत करायेंगे1 जद यू सदस्य ने याद दिलाया कि दो साल पहले केन्द्रीय गृहमंत्री नेभोजपुरी भाषा को संविधान की आठवीं अनुसूची में शामिल करने काआश्वासन दिया था लेकिन अभी तक इस दिशा में कोई कदम नहींउठाया गया1 संविधान की आठवी अनुसूची में शामिल होने के बाद इनभाषाओं को क्षेत्रीय भाष का दर्जा मिल जाता है और राज्य सरकारें चाहेंतो राजकाज में इसे अपना सकती हैं1 महाबीर शेखर रामलाल134
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