कैसे 9 सेकेंड में ढह जाएंगे 200 करोड़ के ट्विन टॉवर्स ?
22 मई, 2022 को उत्तर प्रदेश के नोएडा में सेक्टर-93A स्थित सुपरटेक की दो इमारतें Ceyane (31 फ्लोर) और Apex (32 फ्लोर) दिन के 2.30 बजे 9 सेकंड में ध्वस्त हो जाएंगी।
200 करोड़ से ज्यादा की लागत
सुप्रीम कोर्ट ने 31 अगस्त, 2021 को इन दोनों अवैध इमारतों को गिराने का आदेश दिया था। इन इमारतों के निर्माण पर 200 करोड़ रुपये से भी ज्यादा की लागत आई है।
पाउडर विस्फोटक का इस्तेमाल
ट्विन टॉवर्स को ढहाने के लिए 2,500 से 4,000 किलो विस्फोटकों की आवश्यकता का अनुमान है। पाउडर विस्फोटक का इस्तेमाल होगा। इसे छोटे-छोटे शॉक ट्यूब में रखा जाएगा।
पहले टेस्ट ब्लास्ट होगा
पहले टेस्ट ब्लास्ट करके पता लगाया जाएगा कि कितने विस्फोटक दोनों टॉवर को ध्वस्त करने के लिए चाहिए। हरियाणा के पलवल से 15 दिनों में धीरे-धीरे विस्फोटक जुटाया जाएगा।
टेस्ट के लिए बेसमेंट के चार कोलम और एक टॉवर की 14वीं मंजिल के एक पिलर में अलग-अलग मात्रा में विस्फोटक इस्तेमाल की योजना है, ताकि कम से कम विस्फोटक इस्तेमाल हो।
कहां-कहां लगेंगे विस्फोटक
फाइनल विस्फोट के दौरान प्रत्येक टॉवर की 10 मंजिलों को प्राइमरी ब्लास्ट और बीच की 7 मंजिलों को सेकंडरी ब्लास्ट फ्लोर्स के तौर पर इस्तेमाल किया जाएगा।
विस्फोटक लगाने की तकनीक
प्राइमरी ब्लास्ट फ्लोर्स के सभी कोलम में विस्फोटक फिट किए जाएंगे। सेकंडरी ब्लास्ट फ्लोर्स में 40% कोलम में विस्फोटों का उपयोग किया जाएगा।
दोनों इमारतों की ग्राउंड, 1, 2, 6,10,14,18, 22,26 और 30वीं मंजिलें प्राइमरी ब्लास्ट फ्लोर्स होंगी। 4, 8,12,16, 20, 24 और 28वीं मंजिलों का इस्तेमाल सेकंडरी ब्लास्ट फ्लोर्स के लिए होगा।
नियंत्रित विस्फोट तकनीक के इस्तेमाल से दोनों इमारतों को ध्वस्त करने में सिर्फ 9 सेकंड लगेंगे। इस तरह से विस्फोट करने पर दोनों इमारतें मंजिल-दर-मंजिल ताश के पत्तों की तरह ढह जाएंगी।
तोड़ने की लागत 20 करोड़
धमाके के लिए डेटोनेटर का उपयोग किया जाएगा, जिसे ब्लास्ट वाले दिन ही जोड़ा जाएगा। पहले Ceyane बिल्डिंग गिरेगी, फिर Apex जमींदोज होगी। तोड़ने में 20 करोड़ रुपये की लागत आने का अनुमान।
एक घंटे ट्रैफिक बंद रहेगा
ट्विन टॉवर के आसपास रहने वाले करीब 1500 परिवारों को विस्फोट से तीन घंटे पहले उनके घरों से हटा लिया जाएगा। नोएडा एक्सप्रेस-वे पर एक घंटे ट्रैफिक बंद रहेगा।
आसपास की इमारतें जाल से कवर होंगी
आसपास की इमारतों को तार के जाल और geotextile fabric से कवर किया जाएगा ताकि मलबा उन्हें नुकसान ना पहुंचाए।
Apex और उसके सटे Emerald Court बिल्डिंग के बीच में दो मंजिल ऊंचे शिपिंग कंटेनर्स की दीवार खड़ी की जाएगी।
दोनों बिल्डिंग ध्वस्त होने के बाद पहले एक्सपर्ट उस साइट और आसपास की इमारतों का मुआयना करेंगे और उसके बाद ही नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेस-वे पर ट्रैफिक बहाल होगी।