क्विक अलर्ट के लिए
नोटिफिकेशन ऑन करें  
For Daily Alerts
Oneindia App Download

Battle of Haldighati: आज के ही दिन 'हल्दीघाटी' में लिखी गई थी वीरता की शौर्य गाथा

Google Oneindia News

नई दिल्ली। भारतीय इतिहास में हल्दीघाटी का युद्द वीरता और शौर्य के अनुपम उदाहरणों में से एक है, मध्यकालीन इतिहास का सबसे चर्चित युद्ध आज से करीब 442 साल पहले 1576 में लड़ा गया था। इस युद्द को लेकर इतिहासकारों के अपने-अपने तर्क हैं, अलग-अलग किताबों में इसे विभिन्न रूपों में व्याखित किया गया है।

चलिए जानते हैं इस युद्द से जुड़ी कुछ बेहद खास बातें...

हल्दीघाटी की मिट्टी हल्दी जैसी

हल्दीघाटी की मिट्टी हल्दी जैसी

  • हल्दीघाटी, राजस्थान में एकलिंगजी से 18 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है, जो कि राजसमन्द और पाली जिलों को आपस में जोड़ती है।
  • इसका नाम 'हल्दीघाटी' इसलिये पड़ा क्योंकि यहां की मिट्टी हल्दी जैसी पीली है।

विनाशकारी सिद्ध हुआ 'हल्दीघाटी' का युद्ध

विनाशकारी सिद्ध हुआ 'हल्दीघाटी' का युद्ध

'हल्दीघाटी' का युद्ध मुगल बादशाह अकबर और महाराणा प्रताप के बीच 18 जून, 1576 ई. को चार घंटों तक लड़ा गया था। अकबर और राणा के बीच यह युद्ध महाभारत युद्ध की तरह विनाशकारी सिद्ध हुआ था।

न तो अकबर जीत सका और न ही राणा हारे!

न तो अकबर जीत सका और न ही राणा हारे!

ऐसा माना जाता है कि हल्दीघाटी के युद्ध में न तो अकबर जीते और न ही राणा हारे। मुगलों के पास सैन्य शक्ति अधिक थी तो राणा प्रताप के पास जुझारू शक्ति की कोई कमी नहीं थी। इसी युद्ध में महाराणा प्रताप का प्रसिद्ध घोड़ा चेतक मारा गया था। हालांकि इस युद्ध में जीत और हार को लेकर बहुत सारे तर्क हैं, कोई कहता है कि इस लड़ाई में महाराणा प्रताप जीते थे तो कोई कहता था कि अकबर विजयी हुए थे।

कुछ रोचक बातें

कुछ रोचक बातें

  • हल्दीघाटी के युद्ध में महाराणा प्रताप की तरफ से लड़ने वाले सिर्फ एक मुस्लिम सरदार थे और उनका नाम था हकीम खां सूरी।
  • ऐसा कहा जाता है कि महाराणा प्रताप ने युद्द के दौरान घास की रोटी से अपना और अपने परिवार का पेट भरा था।
  • यही नहीं कुछ इतिहास कि किताबों में ये भी लिखा है कि राणा के निधन के बाद अकबर ने अपना शोक संदेश मेवाड़ भिजवाया था जिसमें उन्होंने दुख प्रकट किया था कि मुझे आजीवन इस बात का अफसोस रहेगा कि मैं कभी भी महाराणा को हरा नहीं पाया, वो वाकई में वीर योद्धा थे।
  • हल्दीघाटी में अब यहां एक संग्रहालय है। इस संग्रहालय में हल्दीधघाटी के युद्ध के मैदान का एक मॉडल और महाराणा प्रताप से संबंधित वस्तुओं को रखा गया है। ये युद्द महाराणा की वीरता की कहानी कहता है।

यह भी पढ़ें:जानिए शिवाजी महाराज क्यों कहलाते हैं 'छत्रपति'?यह भी पढ़ें:जानिए शिवाजी महाराज क्यों कहलाते हैं 'छत्रपति'?

Comments
English summary
The Battle of Haldighati was a battle fought on 18 June 1576 between cavalry and archers supporting the Rana of Mewar, Maharana Pratap; and the Mughal emperor Akbar's forces, led by Man Singh I of Amber.
देश-दुनिया की ताज़ा ख़बरों से अपडेट रहने के लिए Oneindia Hindi के फेसबुक पेज को लाइक करें
For Daily Alerts
तुरंत पाएं न्यूज अपडेट
Enable
x
Notification Settings X
Time Settings
Done
Clear Notification X
Do you want to clear all the notifications from your inbox?
Settings X
X