महामारी के बीच अर्थव्यवस्था को सुधारने के लिए ओडिशा सरकार को 3,107 करोड़ रुपये का कर्ज
भुवनेश्वर। कोरोना वायरस महामारी के चलते हर राज्यों की अर्थव्यवस्था लड़खड़ा गई है। इसे पटरी पर लाने के लिए राज्यों को एमएसएमई के तहत लोन लेना पड़ा रहा है। ओडिशा सरकार को ये लोग एमएसएमई सेक्टर के तहत ली गई है। ओडिशा सरकार को ये लोन महामारी से प्रभावित विभिन्न क्षेत्रों के पुनरुद्धार में मदद के लिए केंद्र द्वारा शुरू की गई आपातकालीन क्रेडिट लाइन गारंटी योजना के तहत दिया गया है। आधिकारिक सूत्रों ने कहा कि ओडिशा सरकार से सहायता और बैंकों के सहयोग ने राज्य में इस योजना को सफल बनाया है।
आपको बता दें कि 2020-21 के लिए 3,308.69 करोड़ रुपये ओडिशा सरकार को दिया गया था जिसमें से 3,107.82 करोड़ सरकार ने अभी यू़ज कर लिया है। इसी प्रकार, प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम के तहत 4,358 उद्यमियों को 115 करोड़ रुपये का ऋण जारी किया गया है। राज्य सरकार ने MSME क्षेत्र को जीवित रखने के लिए कई अन्य उपाय शुरू किए हैं। इनमें स्वयं सहायता समूह के 2,814 सदस्यों को 7.74 करोड़ रुपये के प्रत्येक 40,000 रुपये के बीज धन का प्रावधान शामिल है। इसके अलावा, महामारी के दौरान उन्हें बनाए रखने के लिए 21 SHG को 53.69 लाख रुपये की सब्सिडी प्रदान की गई।
सूत्रों ने कहा कि विभाग ने तीन किसान उत्पादक कंपनियों को सब्सिडी देने के लिए केंद्र को लिखा है। इसके अलावा, सरकार ने मत्स्य पालन क्षेत्र में उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए गंजाम जिले के रानिलिलुंडा में एक ऊष्मायन केंद्र की स्थापना के लिए ओडिशा कृषि और प्रौद्योगिकी (ओयूएटी) को 1.63 करोड़ रुपये का अनुदान मंजूर किया है। अन्य उपायों में ब्रांडिंग के लिए ओआरएमएएस के लिए 8.5 करोड़ रुपये का प्रावधान और बेहतर विपणन के लिए ओडिशा के खाद्य उत्पादों की उचित पैकेजिंग शामिल है। मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने 15 दिसंबर, 2020 को एमएसएमई के लिए 289.42 करोड़ रुपये के प्रोत्साहन पैकेज की घोषणा की थी।