अयोध्या के विकास में तेजी लाने के लिए सीएम योगी ने दिए निर्देश
लखनऊ। श्रीराम जन्मभूमि पर भव्य मंदिर निर्माण के साथ-साथ अयोध्या के विकास की कसरत भी तेजी से चल रही है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विकास कार्यों से संबंधित प्रस्तुतिकरण देखा और निर्देश दिया कि अवधपुरी के विकास की समन्वित कार्ययोजना बनाएं। इसके लिए निजी क्षेत्र, पीपीपी मोड और कॉर्पोरेट सोशल रिस्पांसिबिलिटी फंड के प्रयोग की भी संभावनाएं तलाशी जाएं।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने सरकारी आवास पर मंगलवार को आयोजित बैठक में कहा कि अयोध्या के विकास की प्राथमिकताएं तय करते हुए श्रेणीवार रूप से काम को चिह्नित किया जाए। यह धाम विश्व पटल पर अपने मौलिक, धार्मिक, ऐतिहासिक, सांस्कृतिक व आध्यात्मिक स्वरूप के साथ उभरेगा।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि अयोध्या के विकास में और गति लाई जाए। इसके लिए हर स्तर पर त्वरित निर्णय लेकर सभी परियोजनाओं को निर्धारित समय सीमा में पूरा करना जरूरी है। अल्प, मध्यम और दीर्घ अवधि की विकास परियोजनाएं बनाते हुए उन्हें निर्धारित टाइम लाइन के अनुसार पूरा किया जाए। भूमि अधिग्रहण के मामले जल्द निस्तारित होने चाहिए। इस बात पर खास जोर दिया कि पर्यटकों व श्रद्धालुओं को अयोध्या के पौराणिक व सांस्कृतिक स्वरूप की अनुभूति हो। सभी घाटों को संरक्षित कर उनका सुंदरीकरण किया जाए। इससे अयोध्या में नया पर्यटन आकर्षण स्थल उपलब्ध होगा।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि भविष्य में यहां देश-दुनिया से आने वाले पर्यटकों-श्रद्धालुओं की संख्या में वृद्धि संभावित है। इसे देखते अच्छे होटलों के निर्माण को बढ़ावा दें। अतिथि गृह, धर्मशाला, विश्रामालय सुविधाओं सहित अन्य संस्थाओं के लिए भूमि चिन्हित करें। इस अवसर पर मुख्य सचिव आरके तिवारी, मुख्यमंत्री के आर्थिक सलाहकार केवी राजू, अपर मुख्य सचिव मुख्यमंत्री एसपी गोयल, प्रमुख सचिव आवास दीपक कुमार, प्रमुख सचिव पर्यटन व संस्कृति मुकेश मेश्राम, सचिव मुख्यमंत्री आलोक कुमार आदि उपस्थित थे।
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