गुजरात सरकार पुलिस विभाग में आर आर सेल बंद कराएगी, CM विजय रूपाणी ने की घोषणा
अहमदाबाद। गुजरात के मुख्यमंत्री विजय रूपाणी ने राज्य पुलिस विभाग में आर.आर. सेल बंद करने की घोषणा की है। इस मौके पर गृह विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव पंकज कुमार ने कहा कि भूमाफियाओं के खिलाफ प्रभावी लड़ाई लड़ने के लिए गत वर्ष विधानसभा में सरकार की ओर से लैंड ग्रेबिंग बिल लाया गया था, जो अब कानून का रूप ले चुका है। यह बात इस दिशा में अपराध पर नकेल कसने की सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाता है। इस कानून के असरदार कार्यान्वयन के लिए जिला स्तर पर एक समिति का गठन किया गया है और तो और यह भी सुनिश्चित किया जाता है कि आए गए आवेदनों का समयसीमा के भीतर निस्तारण हो। उन्होंने कहा कि अब तक इस कानून के अंतर्गत विभिन्न जिलों में 605 आवेदन प्राप्त हुए हैं जबकि 42 आवेदन सुओ मोटो यानी स्वतः संज्ञान के मार्फत कलक्टरों से मिले हैं। इस तरह, कुल 647 आवेदनों पर जांच की कार्यवाही जारी है।
इस कानून के तहत 16 एफआईआर दर्ज हुई हैं, जिसमें करीब 1 लाख 35 हजार वर्ग मीटर जमीन के अवैध रूप से हड़पने के मामले प्रकाश में आए हैं। इन जमीनों की कीमत मौजूदा जंत्री की दर के मुताबिक लगभग 220 करोड़ रुपए होती है। राज्य के पुलिस प्रमुख (डीजीपी) आशीष भाटिया ने गृह विभाग के कामकाज की जानकारी देते हुए कहा कि हमने पासा कानून में संशोधन कर उसे और मजबूत बनाया है। पासा लगाने के लिए अब जिला पुलिस अधीक्षक या पुलिस आयुक्त के स्तर पर प्रस्ताव रखा जाता है और संबंधित कलक्टर की मंजूरी के बाद पासा लागू करने का प्रावधान है। भाटिया ने कहा कि 31 दिसंबर, 2020 तक पुराने और नए दोनों पासा कानून के तहत 1247 व्यक्तियों के खिलाफ मामले दर्ज किए गए हैं।
जुआ अधिनियम के तहत 90 व्यक्तियों के खिलाफ, मनी लॉन्ड्रिंग (काले धन को सफेद करना- धनशोधन) में 15, यौन उत्पीड़न में 15 और साइबर क्राइम के अंतर्गत 09 लोगों के खिलाफ अपराध दर्ज किए गए हैं। गुजरात आतंकवाद और संगठित अपराध नियंत्रण कानून (गुजसीटॉक) के तहत पिछले एक वर्ष में 11 मामले दर्ज किए गए हैं और 100 से अधिक आरोपियों को शिकंजे में लिया गया है। इस कानून के अंतर्गत वडोदरा में हाल ही में 26, सूरत में 02, अमरेली में 02, अहमदाबाद शहर में 02 और जामनगर सहित अन्य शहरों में मामले दर्ज किए हैं। राज्य सरकार के निर्देश के अनुसार डीजीपी-आईजीपी कॉन्फ्रेंस के बाद फरार आरोपियों के खिलाफ भी कार्यवाही की मुहिम शुरू की गई है। इसके तहत राज्य में 20,000 से अधिक लोगों को ढूंढ निकाला गया है और उनके खिलाफ उचित कार्रवाई की जाएगी।
कई मामलों को लेकर सटीक जानकारी देते हुए भाटिया ने कहा कि हमने फरार आरोपियों में से एक धर्मेंद्र नामक आरोपी को वीजा फ्रॉड में पकड़ा है। वहीं, ओएनजीसी और इंडियन ऑयल कॉर्पोरेश की पाइपलाइनों से तेल चोरी का योजनाबद्ध घपला करने वाले और दिल्ली से इस पूरे ऑपरेशन को संचालित करने वाले संदीप गुप्ता नामक आरोपी को मुंबई से गिरफ्तार किया है। राज्य के आतंकवाद निरोधी दस्ते (एटीएस) द्वारा पकड़ा गया एक आरोपी शीघ्र ही गुजरात लाया जाएगा और आगे पूछताछ के बाद पता चलेगा कि उसने किस तरह से पूरे राज्य में तेल चोरी करने का नेटवर्क स्थापित किया था।
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उन्होंने कहा कि गुजरात की शांति-सलामती और जनता की सुरक्षा के लिए राज्य का पुलिस बल कटिबद्ध है और अद्यतन टेक्नोलॉजी के अधिकतम उपयोग से देश के पुलिस बलों में आगे है। इस अवसर पर मुख्यमंत्री के मुख्य प्रधान सचिव के. कैलाशनाथन, गृह विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव पंकज कुमार और गृह सचिव के.के. निराला आदि उपस्थित थे।