उत्तराखंड: यमुनोत्री धाम के कपाट बंद, शीतकालीन प्रवास पर मां, डोली में हजारों लोग उमड़े
उत्तरकाशी। उत्तराखंड में आज से चारधाम यात्रा-2021 पर विराम लगना शुरू हो गया। भैयादूज के पावन पर्व पर केदारनाथ और यमुनोत्री धाम के कपाट शीतकाल के लिए बंद कर दिए गए। जहां केदारनाथ धाम के कपाट सुबह 8.00 बजे बंद हुए, वहीं, दोपहर 12:30 बजे यमुनोत्री धाम के कपाट बंद हुए। इस दरम्यान सुबह शीतकालीन पड़ाव खरसाली से समेश्वर देवता (शनि देव) की डोली अपनी बहन यमुना को लेने धाम पहुंची। मां यमुना की उत्सव डोली खरसाली गांव को निकली। इसी गांव में अगले 6 महीनों तक यमुना मंदिर में पूजा-अर्चना होगी।

6 महीनों तक अब यहां होगी यमुना-पूजा
यमुनोत्री मंदिर के पुरोहित प्यारेलाल उनियाल ने बताया कि, आज ही खरसाली स्थित मां यमुना के मंदिर को सजाने के लिए फूल मंगाए गए हैं। इस मंदिर को भव्य तरीके से सजाया गया है। पता चला है कि इस बार 50 दिन तक चली यमुनोत्री की यात्रा से यमुनोत्री मंदिर समिति को 5 लाख रुपए की आय हुई।
उत्तराखंड में चारधाम यात्रा फिर से शुरू, बद्रीनाथ जाने वाले हाईवे को दुरुस्त कर रहीं टीमें
दरअसल, कपाट बंद होने से एक दिन पहले यमुनोत्री मंदिर समिति ने प्रशासन की मौजूदगी में यमुनोत्री धाम में लगा दानपात्र खोला। जहां समिति के कोषाध्यक्ष प्यारे लाल उनियाल ने बताया कि, दानपात्र से मंदिर समिति को 5 लाख 13 हजार रुपये की आय प्राप्त हुई है।

18 सितंबर से शुरू हुई थी चारधाम यात्रा
कोरोना महामारी के चलते राज्य में चारधाम यात्रा इस बार 18 सितंबर से शुरू हुई थी। प्राप्त जानकारी के मुताबिक, चारधाम यात्रा के दौरान शुक्रवार तक करीब 34 हजार श्रद्धालुओं ने मां यमुना के दर्शन किए। उधर, केदरानाथ की बात करें तो आज सुबह 4 बजे से केदारनाथ मंदिर में बाबा की विशेष पूजा-अर्चना शुरू करा दी गई थी। मुख्य पुजारी बागेश लिंग द्वारा बाबा केदार की विधि-विधान से अभिषेक कर आरती उतारी गई।साथ ही स्वयंभू ज्योतिर्लिंग को समाधि रूप देते हुए लिंग को भस्म से ढक दिया गया।

अक्टूबर में आई थी आफत
पिछले महीने उत्तराखंड में चारधाम यात्रा रोकनी भी पड़ गई थी। ऐसा भारी बारिश और भूस्खलन की वजह से हुआ। कई दिनों तक यात्रा बहाल नहीं हो पाई। बाद में सरकार ने कहा है कि, तीर्थयात्री यमुनोत्री-गंगोत्री और केदारनाथ धाम आसानी से जा सकते हैं। हालांकि, बद्रीनाथ जाने वाला बदरीनाथ हाईवे क्षतिग्रस्त हो गया। जो कि जोशीमठ के पास बंद पड़ा रहा, और इसीलिए यहां बदरीनाथ यात्रा शुरू नहीं हो सकी।

बादल फटा: तीर्थयात्रियों की सुरक्षित वापसी के लिए उत्तराखंड के CM धामी से गुजरात के CM ने की बात
