यूपी में योगी सरकार चलाएगी 5000 सरकारी अंग्रेजी माध्यम प्राइमरी स्कूल
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में शिक्षा की स्थिति को बेहतर करने के लिए योगी सरकार बड़ा फैसला लेने जा रही है। योगी सरकार जल्द ही प्रदेश में 5000 प्राइमरी अंग्रेजी माध्यम स्कूल चलाने की तैयारी कर रही है। प्रदेश में शिक्षा राज्य मंत्री अनुपमा जायसवाल ने बताया कि जल्द ही प्रदेश में 5000 अग्रेजी माध्यम प्राइमरी स्कूल खोले जाएंगे। माना जा रहा है कि नए स्कूल अगले सेशन से शुरू हो जाएंगे और छात्रों को इन स्कूलों में दाखिला दिया जाएगा। प्रदेश के हर ब्लॉक में इस तरह के पांच स्कूल खोले जाएंगे, आपको बता दें कि प्रदेश में कुल 820 ब्लॉक हैं।
मांग को देखते हुए लिया गया फैसला
अनुपमा जायसवाल ने बताया कि यह फैसला अंग्रेजी माध्यम स्कूलों की भारी मांग को देखते हुए लिया गया है। बच्चों के माता-पिता अंग्रेजी स्कूलों में दाखिले के लिए लंबी-लंबी लाइन लगाते हैं, तो हमने सोचा क्यों ना लोगों की मांग को देखते हुए सरकारी अंग्रेजी माध्यम स्कूलों को खोला जाए। यहां गौर करने वाली बात यह है कि सरकार अलग से नए स्कूल खोलने की बजाए मौजूदा स्कूलों को ही अंग्रेजी माध्यम स्कूलों में परिवर्तित करेगी।
किए जाएंगे बेहतर इंतजाम
बेसिक शिक्षा के सचिव विक्रम बहादुर ने बताया कि इन स्कूलों को अंग्रेजी माध्यम बनाने के लिए शिक्षको को इसकी ट्रेनिंग दी जाएगी, बच्चों को अंग्रेजी माध्यम की किताबे दी जाएंगी। अनुपमा जायसवाल ने कहा कि शिक्षक स्कूल में बेहतर अंग्रेजी पढ़ाएं और बच्चों को बेहतर उच्चारण सिखाएं इसकी पूरी व्यवस्था कराई जाएगी। वहीं इस बाबत एक अन्य अधिकारी का कहना है कि दो वर्ष पहले सपा सरकार ने हर जिले में दो अंग्रेजी माध्यम स्कूल की व्यवस्था की थी, इसको अच्छी प्रतिक्रिया मिली थी, स्कूलों में बच्चों की संख्या बढ़ गई थी, इसी की वजह से मौजूदा सरकार ने यह फैसला लिया है।
अंग्रेजी के खिलाफ थी सपा
आपको बता दें कि जब 2012 में अखिलेश यादव प्रदेश के मुख्यमंत्री बने थे तो समाजवादी पार्टी अग्रेजी के खिलाफ थी, इस भाषा के खिलाफ पार्टी ने हमेशा से ही मोर्चा खोला था। यहां तक की पार्टी ने कंप्युटर और अंग्रेजी का 2009 के लोकसभा चुनाव में अपने चुनावी घोषणा पत्र में भी विरोध किया था। लेकिन समय के साथ पार्टी ने ना सिर्फ अपना स्टैंड बल्कि सोच में भी बदलाव किया और सपा सरकार ने बच्चों को लैपटॉप और टैबलेट बांटा था।
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