एसी, व्हाइट हाउस से माइक तक जानें मायावती के मंच से जुड़ा हर 'राज'
मेरठ। बहुजन समाज पार्टी की सुप्रीमो मायावती ने उत्तर प्रदेश के मेरठ में सोमवार को एक विशाल रैली की। बसपा ने इस रैली को 'मंडल स्तरीय कार्यकर्ता सम्मेलन' नाम दिया था। इस रैली को लेकर पिछले कई दिनों से जोर-शोर से तैयारियां चल रही थीं। इस रैली में राजनीतिक अस्तित्व की लड़ रही मायावती ने अपने भाई आनंद और भतीजे आकाश का परिचय सबसे कराया।
मायावती ने रैली में कहा
इस रैली में मायावती ने भाजपा पर उनकी हत्या कराने का षड़यंत्र रचने का आरोप भी लगाया। इस रैली की चर्चा सोशल मीडिया पर भी खूब हो रही है लेकिन इस चर्चा माया का भाषण, भीड़, भतीजे और भाई का जिक्र नहीं है बल्कि रैली के मंच पर लोगों की निगाहें रहीं।
लेकिन थी इस बात की चर्चा
बता दें कि मेरठ में माया के मंच पर किसी चीज की कोई कमी होती नहीं, इस बार भी कुछ ऐसा ही था। हमेशा दलितों और गरीबों की बात करने वाली मायावती के मंच पर कम से कम 6-8 एसी लगे हुए थे। मंच पर दो-दो पोडियम लगे थे, जिसमें से एक खासतौर से माया के लिए रिजर्व था।
ये थे रैली में इंतजाम
मंच पर एक सोफा, कई कुर्सियां लगी हुईं थीं। अमूमन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी औरर कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी की कई रैलियों में पंखे लगे होते हैं। कई बार ये भी नहीं लगा होता लेकिन माया की ऐसी कोई भी रैली नहीं होती जिसमें एसी ना लगा हो। विपक्षी दल भी इसी बात को लेकर अक्सर बसपा को घेरता है।
ये भी है मंच की खासियत
बता दें कि मायावती का मंच इससे पहले भी चर्चा में रहा है। उनके मंच की सबसे ज्यादा खास बात है, सब कुछ पार्टी के झंडे के रंग नीले रंगा रहता है। बता दें कि माया के मंच पर सब कुछ सफेद और नीला ही होता है। यहां तक पेन का रंग और सोफा और कुर्सी भी।
मंच के बगल में व्हाइट हाऊस!
नाम के अनुसार यह झक सफेद होता है और इसे खास रिफ्रेशमेंट के लिए बनाया जाता है। यहां खाने पीने से लेकर रुकने तक का इंतजाम होता है। यह व्हाइट हाउस तभी खुलता है, जब इसमें माया आती हैं। ये सब कुछ ब्लैक कैट कमांडो की निगरानी में होता है।
मंच पर कोई बोल नहीं सकता
बता दें कि माया के मंच पर जहां जिसकी जगह तय है वो वहीं बैठता है। उसके अलावा वो कहीं और नहीं बैठ सकता है। इतना ही नहीं कोई भी बेवजह बोल नहीं सकता। अगर किसी को माया से मिलना भी होता है तो वो 2 हाथ के फासले पर खड़ा होता है।