ड्रेस कोड के नाम पर रैगिंग! छात्र सिर मुंडवाकर तो छात्राएं पहुंची चोटी बनाकर
कानपुर। कानपुर के जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज में बुधवार को फ्रेशर्स पार्टी का आयोजन किया गया था। इस दौरान सभी जूनियर छात्रों के छोटे-छोटे बाल और सभी छात्राओं को चोटी में देखकर सभी दंग रह गए। ऑडिटोरियम में प्रवेश के दौरान सभी जूनियर्स के सिर झुके हुए थे। इसी तरह छात्राएं भी सिर झुका कर कक्ष में प्रवेश करती दिखीं। हालांकि इस दौरान किसी भी छात्र ने अपनी इस अजीबोगरीब एक्टिविटी के बार कुछ नहीं कहा। कॉलेज के सीनियर्स और शिक्षकगण इसे ड्रेस कोड बताते रहे लेकिन ये साफ-साफ रैंगिग पता चल रही थी। कार्यक्रम का शुभारंभ प्राचार्य डॉ. आरती दवे लालचंदानी ने पौधरोपण कर किया। इसके बाद रंगारंग कार्यक्रम शुरू हुए। इस दौरान जमकर हुड़दंग होता रहा।
कार्यक्रम के दौरान 190 छात्र-छात्राओं को अलग-अलग बैठाया गया। इस दौरान जूनियर्स के आसपास सीनियर्स खड़े रहे और इशारे करते रहे। कार्यक्रम में जूनियर्स ने अपनी प्रतिभाएं दिखाईं। कार्यक्रम के दौरान साफ देखा जा सकता था कि जूनियर छात्र-छात्राओं को ऑडिटोरियम के पीछे बुलाकर ग्रुप में उनका इंट्रोडक्शन किया गया। साथ ही ,सीनियर छात्र हुड़दंग करते रहे। कभी वे जूनियर्स से सीनियर्स को फूल दिलवाते रहे तो कभी जूनियर को।
कार्यक्रम में प्रॉक्टर डॉ. जीडी यादव, छात्र संभाग की डॉ. सीमा निगम, मेडिसिन विभागाध्यक्ष डॉ. रिचा गिरि, आर्थोपेडिक विभागाध्यक्ष डॉ. संजय कुमार, मनोरोग के विभागाध्यक्ष डॉ. धनंजय चौधरी, डॉ. प्रेम सिंह, डॉ. जीसी उपाध्याय, न्यूरो सर्जरी के विभागाध्यक्ष डॉ. मनीष सिंह, डॉ. प्रशांत त्रिपाठी, डॉ. कुनाल सहाय, डॉ. विकास मिश्रा थे।
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प्राचार्य
का
क्या
कहना
है
जीएसवीएम
मेडिकल
कालेज
की
प्राचार्य
डॉ.
आरती
दवे
लालचंदानी
ने
रैंगिंग
के
किसी
भी
आरोप
से
इंकार
किया
है।
उन्होंने
कहा
कि
लड़कों
का
बाल
छोटा
कराना
और
लड़कियां
को
चोटी
बनाना
ड्रेस
कोड
है।
इस
दौरान
सीनियरों
ने
जूनियर
छात्रों
को
परेशान
नहीं
किया
है।