सपा नेता आजम खां पर चलेगा मुकदमा, सीएम योगी ने दिया आदेश
लखनऊ। योगी सरकार ने समाजवादी पार्टी के कद्दावर नेता आजम खान पर आपत्तिजनक टिप्पणी मामले मुकदमा चलाने का आदेश दिया है। दरअसल, आजम खान ने छ्त्तीसगढ़ के सुकमा में महिला नक्सलियों ने शहीदों के गुप्तांग काट लिया था। इसी मामले में आजम खान ने विवादित बयान दिया था। आजम खान ने कहा था कि महिलाओं ने फौजियों से रेप का बदला उनके गुप्तांग को काट कर लिया है। आजम खान के कहा था कि महिलाओं को जवानों के गुप्तांग से परेशानी थी इसलिए महिलाओं ने उसे काट कर साथ ले चली गई।
बयान
पर
जमकर
मचा
था
घमासान
आजम
खान
के
इस
बयान
के
बाद
से
सियासी
उबाल
मच
गया
था।
इसके
बाद
अच्छा
खासा
बवाल
मच
गया
था।
इतना
ही
नहीं
इस
बयान
लेकर
आजम
के
खिलाफ
रिपोर्ट
भी
दर्ज
कराई
गई
थी।
आजम
खान
पर
भर्ती
में
भी
जांच
पहले
से
ही
चल
रही
है।
आजम
खान
पहले
ही
कह
चुके
है
कि
योगी
सरकार
उनको
टारगेट
कर
रही
है।
जांच
बैठाने
के
लिए
और
भी
कई
मुद्दे
हैं
और
और
प्रदेश
में
अपराध
भी
चरम
पर
है।
योगी
सरकार
इन
सब
को
छोड़कर
मुझे
ही
क्यों
टारगेट
कर
रही
है।
पहले
से
चल
रहा
है
बाप-बेटे
पर
जालसाजी
का
मुकदमा
आपको
बता
दे
कि
आजम
खां
और
उनके
बेटे
विधायक
अब्दुल्ला
आजम
जालसाजी
के
आरोपों
में
कोर्ट
ने
मुकदमा
कायम
कर
लिया
था।
पूर्व
मंत्री
नवेद
मियां
ने
दोनों
के
खिलाफ
मुकदमा
दर्ज
कराने
के
लिए
कोर्ट
में
प्रार्थना
पत्र
दे
दिया
था।
समाजवादी
पार्टी
की
सरकार
में
कैबिनेट
मंत्री
रहे
आजम
खान
ने
पिछले
विधानसभा
चुनाव
में
अपने
बेटे
अब्दुल्ला
को
स्वार
टांडा
से
सपा
प्रत्याशी
बनाया।
अब्दुल्ला
के
नामांकन
कराने
के
साथ
ही
उनकी
उम्र
को
लेकर
विवाद
खड़ा
हो
गया।
उनके
मुकाबले
बसपा
प्रत्याशी
रहे
पूर्व
मंत्री
नवाब
काजिम
अली
खान
उर्फ़
नवेद
मियां
ने
निर्वाचन
अधिकारी
के
समक्ष
आपत्ति
दाखिल
की
थी
कि
अब्दुल्ला
की
उम्र
25
साल
से
कम
है।
तब
अब्दुल्ला
ने
लखनऊ
के
एक
अस्पताल
का
जन्म
प्रमाण
पत्र
दाखिल
किया,
जिसमें
उनकी
उम्र
25
साल
से
ज्यादा
थी।
इस
पर
निर्वाचन
अधिकारी
ने
आपत्ति
खारिज
करते
हुए
अब्दुल्ला
का
नामांकन
पत्र
सही
ठहरा
दिया,
लेकिन
चुनाव
संपन्न
हो
जाने
के
बाद
नवेद
मियां
के
हाथ
अब्दुल्ला
आज़म
की
हाईस्कूल
की
मार्कशीट
लग
गई,
जिसमें
उनकी
उम्र
सात
माह
कम
थी,
इसे
लेकर
नवेद
मियां
ने
अब्दुल्ला
के
खिलाफ
हाई
कोर्ट
में
मुकदमा
दायर
कर
दिया।
फर्जी
प्रमाण
पत्रों
के
आधार
पर
नामांकन
पत्र
दाखिल
किया
है
अदालत
में
यह
मुकदमा
विचाराधीन
है,
लेकिन
इसी
बीच
पूर्व
मंत्री
शिव
बहादुर
सक्सेना
के
बेटे
भाजपा
नेता
आकाश
सक्सेना
ने
भी
अब्दुल्ला
के
खिलाफ
मुख्य
निर्वाचन
अधिकारी
लखनऊ
से
शिकायत
कर
दी,
जिसमें
कहा
कि
अब्दुल्ला
ने
फर्जी
प्रमाण
पत्रों
के
आधार
पर
नामांकन
पत्र
दाखिल
किया
है।
शपथ
पत्र
भी
झूठा
है
उसके
साथ
जो
पैन
कार्ड
लगा
है,
वह
भी
गलत
है।
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