ऑस्ट्रेलिया के मुस्लिम धर्मगुरु ने हिंदुस्तानी मुसलमानों पर किया ट्वीट, देवबंदी उलेमा ने लताड़ा
मौलाना ने कहा कि तौहीदी पश्चिमी देशों के हाथ की कटपुतली है, इसीलिए वो इस्लाम मुखालिफ बयानबाजी करता है।
सहारनपुर। इस्लाम के खिलाफ बयानबाजी कर चर्चा में रहने वाले विवादास्पद आस्ट्रेलियाई मुस्लिम धर्मगुरु इमाम तौहिदी के हाल ही में आए एक ट्वीट ने हिंदुस्तान के मुसलमानों में रोष फैला दिया है। देवबंदी उलेमा ने तौहीदी के ट्वीट पर कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि हिंदुस्तान का मुसलमान किसी कीमत पर अपने देश की मिटटी को छोड़ कर जाने वाला नहीं है। यदि तौहीदी हिंदुस्तान आया तो उसका खुलकर विरोध किया जाएगा। ऑस्ट्रेलिया में रहने वाले विवादास्पद मुस्लिम धर्मगुरु इमाम तौहीदी ने दो दिन पूर्व ट्वीट कर कहा था कि यदि वो हिंदुस्तान आ गए तो यहां के सभी कट्टरपंथी मुल्ला हिंदुस्तान छोड़कर मक्का (सऊदी अरब) भाग जाएंगे।
ऑस्ट्रेलियाई धर्मगुरु का Bad Tweet
तौहीदी ने एक और ट्वीट में जून 2018 तक हिंदुस्तान आने की बात भी कही है। तौहीदी के इन ट्वीट पर कड़ी आपत्ति जताते हुए तंजीम उलेमा-ए-हिंद के प्रदेशाध्यक्ष मौलाना नदीमुल वाजदी ने कहा कि इससे पूर्व भी तौहीदी लगातार इस्लाम के खिलाफ बयानबाजी करता रहा है, ये उसका सस्ती लोकप्रियता हासिल करने का एक तरीका है। मौलाना ने कहा कि तौहीदी पश्चिमी देशों के हाथ की कटपुतली है, इसीलिए वो इस्लाम मुखालिफ बयानबाजी करता है। उन्होंने कहा कि यदि तौहीदी हिंदुस्तान आया तो उसका खुलकर विरोध किया जाएगा।
देवबंदी उलेमा ने दिया जवाब
तंजीम अब्नाए दारुल उलूम के अध्यक्ष मुफ्ती यादे इलाही कासमी ने कहा कि यदि तौहीदी हिंदुस्तान आया तो यहां के मुसलमानों को देख कर उसकी मानसिकता खुद बदल जाएगी। क्योंकि देश का मुसलमान कट्टरपंथी नहीं बल्कि अमन पसंद है। मुफ्ती यादे इलाही ने कहा कि इस्लाम अमन का ही पैगाम देता है, इसलिए मुसलमान कट्टरपंथी हो ही नहीं सकता। जो लोग मुसलमानों के खिलाफ जहर उगल रहे हैं वो इस्लाम मुखालिफ हाथों बिके हुए हैं। उन्होंने कहा कि तौहीदी जैसे लोग दिमागी दिवालिएपन के शिकार हैं। यदि वो देश के अमन सुकून को आग में डालने के लिए हिंदुस्तान आते हैं तो उनका देश के मुसलमान ही नहीं बल्कि हर अमन पसंद नागरिक विरोध करेगा।
'मुसलमानों को नहीं बल्कि इस्लाम को बदनाम किया है'
मदरसा जामिया हुसैनिया के मौलाना तारिक कासमी का कहना है इस्लाम के मानने वालों को कट्टरपंथी बताना बेहद निंदनीय है। उन्होंने कहा कि अपने आपको मुसलमान कहने वाले लोग इस तरह के बयान देकर मुसलमानों को नहीं बल्कि इस्लाम को बदनाम करते हैं। उन्होंने तौहीदी के ट्वीट की कड़े शब्दों में निंदा की।