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कानून व्यवस्था के नाम पर अखिलेश ने खरीद डाली करोड़ों की लग्जरी कारें

सीएजी ने अखिलेश यादव की फिजूलखर्ची पर उठाए सवाल, सीएजी रिपोर्ट के अनुसार कानून व्यवस्था के नाम पर खरीदी गई लग्जरी कार

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लखनऊ। यूपी के पूर्व मुख्यंत्री एक बार फिर से अपनी फिजूलखर्जी को लेकर चर्चा मे आ गए हैं। भारत के नियंत्रक एवं महालेखापरीक्षक (कैग) ने अपनी रिपोर्ट में उत्तर प्रदेश सरकार के द्वारा 2015 में मुख्यमंत्री अखिलेश यादव की सुरक्षा के लिए 6.9 करोड़ रूपये में 2 लग्जरी मर्सिडीज कारों की खरीद पर सवाल उठाया है।

सपा ने दिया प्रक्रिया का हवाला

सपा ने दिया प्रक्रिया का हवाला

रिपोर्ट में कहा गया है कि यह कार्य उस वक्त किया गया जब महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश और आंध्र प्रदेश जैसे दुसरे राज्यों के मुख्यमंत्री अम्बैस्डर, महिंद्रा स्कॉर्पिओ और टाटा सूमो से चल रहे थे। समाजवादी पार्टी के प्रवक्ता राजेंद्र चौधरी ने बताया की उनको इस खरीद की कोई जानकारी नहीं है। साथ-साथ उन्होंने यह भी कहा कि खरीद के पहले सरकार ने सारी जरूरी प्रक्रियाओं का पालन किया होगा।

करोड़ो खर्च हुए लग्जरी कारों पर

करोड़ो खर्च हुए लग्जरी कारों पर

कैग ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि 2013 के सितम्बर माह में राज्य सरकार ने सीएम की सुरक्षा के लिए पुराने वाहनों को बदलकर नए वाहनों को खरीदने के लिए 5.84 करोड़ रूपये का आवंटन किया था। इन वाहनों में 10 बुलेटप्रूफ टाटा सफारी और 8 सामान्य टाटा सफारी खरीदी गई थी। उसके बाद 2014 के जनवरी माह में सरकार ने दोबारा 3.24 करोड़ रूपये में दो बुलेटप्रूफ लैंड क्रूजर खरीदने की स्वीकृति दी लेकिन बाद में 6.9 करोड़ रूपये की दो मर्सिडीज़ एम क्लास की कारें खरीदी गईं।

सरकार बच सकती थी फिजूलखर्ची से

सरकार बच सकती थी फिजूलखर्ची से

प्रदेश सरकार के इस बेकार के खर्चे का संज्ञान लेते हुए कैग ने सरकार की खिचाई की और कहा है कि सरकार इस फिजूल के खर्चे को रोक कर राज्य के करीब 3.66 करोड़ रूपये बचा सकती थी। कैग ने अपनी रिपोर्ट में आगे कहा कि जब राज्य के 11 जिलों की पुलिस को वाहनों की सख्त जरूरत थी उस वक्त पर सरकार ने सीएम की सुरक्षा के लिए 18 अतिरिक्त वाहन खरीदें हैं। गौर करने वाली बात यह है कि इस साल फरवरी में कैग के सवालों का जवाब देते हुए अखिलेश सरकार ने कहा कि उन वाहनों को राज्य की कानून-व्यवस्था बरकरार रखने के लिए खरीदा गया था।

सरकार को देनी पड़ सकती है सफाई

सरकार को देनी पड़ सकती है सफाई

राज्य सरकार के एक बड़े अधिकारी ने बताया है कि यह मुद्दा राजनीतिक रूप ले सकता है क्योंकि सीएम की सुरक्षा के लिए इन लग्जरी कारों की खरीद करने का कोई औचित्य ही नहीं था। इसके अलावा उन्होंने यह भी बताया की जिस तरह से कैग ने सरकार के जवाब को मानने से इंकार कर दिया है, सरकार को पब्लिक एकाउंट्स समिति के आगे कोई दूसरा तर्क देकर अपने इस कदम का औचित्य समझाना पड़ सकता है।

वीआईपी की सुरक्षा अहम वजह

वीआईपी की सुरक्षा अहम वजह

उन्होंने आगे बताया की महंगी कारें खरीदने का एक कारण सीएम की सुरक्षा का भी हो सकता है क्योंकि आजकल वीवीआईपी पर हमले का खतरा पहले से जादा माना जाता है। यही वजह है कि ऊंचे पद पर बैठे लोग आरामदायक और तेज रफ्तार से चलने वाली बुलेटप्रूफ कारों को अम्बैस्डर गाड़ियों के मुकाबले जादा पसंद करते हैं। इसके अलावा सीएम की सुरक्षा के लिए नई गाड़ियों को खरीदने के बाद पुरानी गाड़ियों को बाकी कार्यों में लगाने का पुराना चलन रहा है।

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English summary
Akhilesh government told CAG that it purchased two bulletproof mercedes cars to maintain law and order. According to the CAG report, Akhilesh government lavishly purchased vehicles for his security.
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