घर के बाहर अभिषेक बच्चन देते रहे आवाज पर नहीं खुला दरवाजा
इलाहाबाद। इलाहाबाद आये अभिषेक बच्चन और उनकी फैमली के साथ बड़ा दुखद वाक्या हुआ। अपने पिता अमिताभ की जन्मस्थली और दादा की कर्मभूमि में बच्चन फैमली बेगानी हो गई। दरअसल अभिषेक बच्चन अपनी पत्नी ऐश्वर्या राय बच्चन व बेटी अराध्या के साथ अपने इलाहाबाद स्थित घर पहुंचे। उस घर में जहां अमिताभ का जन्म हुआ। जहां रहकर वह पढ़े खेले। जहां हरिवंश राय कविताएं लिखकर मशहूर हुये। लेकिन अफसोस अभिषेक अपने ही घर में दाखिल नहीं हो सके। अभिषेक घर के बाहर गेट के पास खड़े होकर आवाज देते रहे। फोन लगाते रहे। लेकिन किसी ने घर का दरवाजा ही नहीं खोला। आखिर में मायूस होकर बच्चन फैमली वापस मुंबई लौट गयी। बता दें कि शनिवार को ऐश्वर्या राय बच्चन अपने पिता की अस्थी विसर्जन के लिए इलाहाबाद आयी थीं। संगम में अस्थि विसर्जन के बाद वह अभिषेक के साथ अपनी ससुराल देखने आयी थी। लेकिन घर का गेट अंदर से बंद रहा और उसे किसी ने नहीं खोला।
आप ये तो जानते होंगे
आप इतना तो जानते ही होंगे की सदी के महानायक अमिताभ बच्चन का जन्म इलाहाबाद में हुआ। यहीं उनकी प्रारंभिक शिक्षा दीक्षा संपन्न हुई। अमिताभ के पिता ख्याति प्राप्त कवि हरिवंश राय बच्चन शहर के कटघर मोहल्ले में रहते थे। बाद में क्लाइव रोड स्थित फूलों के बंगला में रहने लगे थे और अध्यापन का कार्य करते थे। इसी बंगले में बिग बी का जन्म 11 अक्टूबर 1942 को हुआ। वह ब्वायज हाईस्कूल में आठवीं तक पढ़े। फिर आगे की पढ़ाई के लिए देहरादून चले गए थे। 1984 के लोकसभा चुनाव में अमिताभ बच्चन इलाहाबाद से सांसदी का चुनाव लड़े और सांसद बने। बाद में एक घोटाले में नाम खींचे जाने पर उन्होंने इस्तीफा दे दिया था।
दरवाजा न खुलने का कारण
इलाहाबाद के पुराने जानकार बताते है कि यह बंगला शहर की जानी मानी हस्ती शंकर तिवारी का था। हरिवंश राय बच्चन यहां किरायेदार थे। वह बंगले के एक पूरे हिस्से में रहते थे। उन्हे इस बंगले से बहुत अधिक लगाव हो गया था। कुछ तथ्यों की माने तो हरिवंश जी 16 रुपए किराया भी देते थे। हालांकि यह बंगला आज भी अमिताभ बच्चन के बंगले के तौर पर जाना जाता है। बताया जाता है कि अमिताभ बच्चन से नाराज होकर एक समय शंकर तिवारी ने बच्चन परिवार के किसी भी मेंबर की इस बंगले में दाखिल न होने का ऐलान किया था।
बंगले पर मालिकाना हक के लिये बच्चन फैमली ने कभी दावा नहीं किया
इसके चलते ही बच्चन फैमली यहां नहीं आती है और जब अब वर्षों बाद तीसरी और चौथी पीढी आई तो शंकर तिवारी के ऐलान के चलते बच्चन फैमली के लिए गेट नहीं खोला गया। जिससे वह घर में दाखिल न हो सके। बता दे कि शंकर तिवारी की मौत हो चुकी है। अब इस बंगले की देखभाल कृष्ण कुमार पांडेय करते हैं। हालांकि इस बंगले पर मालिकाना हक के लिये बच्चन फैमली ने कभी दावा नहीं किया। लेकिन अमिताभ बच्चन इलाहाबाद को अपना घर और इस बंगले को हमेशा अपना ही बताते हैं। लेकिन इस वाक्ये के बाद बच्चन फैमली को जोर का झटका लगा है।