उत्तराखंड, गुजरात और हिमाचल समेत 11 राज्यों पर सुप्रीम कोर्ट ने लगाया 2-2 लाख का जुर्माना
नई दिल्लीः सुप्रीम कोर्ट ने देश के 11 राज्यों पर विधवाओं के कल्याण-पुनर्वास के लिए पर्याप्त कदम न उठाने के लिए दो-दो लाख का जुर्माना लगाया है। राज्यों सरकार द्वारा बेसहारा विधवाओं के पुनर्वास और कल्याण के लिए ठोस कदम न उठाए जाने पर सुप्रीम कोर्ट ने नाराजगी जाहिर की है। बता दें, कुछ समय पहले सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार से कहा था कि ऐसी विधवाओं के पुनर्वास से पहले पुनर्विवाह के बारे में योजना बनाए जिनकी उम्र कम है।
पिछली सुनवाई के दौरान कोर्ट ने यहां तक कह दिया था कि विधवा महिलाओं से बेहतर खाना जेल के कैदियों को मिलता है। कोर्ट ने केंद्र सरकार के रोडमैप पर भी सवाल उठाए थे। कोर्ट ने सफाई, पौष्टिक भोजन, सफाई समेत कई मुद्दों पर खामियां की बात की थी।
सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस मदन बी लोकुर और जस्टिस दीपक गुप्ता की बेंच ने विधवाओं के पुनर्वास की बात कही थी। कोर्ट का कहना था कि विधवाओं के पुनर्विवाह के बारे में कोई बात नहीं करता है।
कोर्ट ने कहा था कि सरकारी नीतियों में विधवाओं के पुनर्विवाह की बात नहीं है जबकि नीतियों में इसका हिस्सा होना चाहिए। साल 2001 में बनी राष्ट्रीय नीति की बात करते हुए कोर्ट ने कहा कि 16 साल बीत चुके हैं इसलिए इस नीति में बदलाव की जरूरत है। सॉलिसिटर जनरल रंजीत कुमार से कोर्ट ने कहा था कि हमें नहीं लगता कि महिलाओं का सशक्तिकरण हो पाया है।
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