
Ranji Trophy: मध्यप्रदेश ने रचा इतिहास, मुंबई को हराकर पहली बार जीती रणजी ट्रॉफी
बेंगलुरु, 26 जून: रणजी ट्रॉफी 2021-22 में मध्य प्रदेश की टीम ने इतिहास रच दिया है। मध्य प्रदेश की टीम ने रणजी फाइनल में मुंबई जैसी मजबूत टीम को मात देकर अपनी सबसे पहली रणजी ट्रॉफी हथिया ली है। जी हां यह मध्य प्रदेश के क्रिकेट इतिहास में पहली रणजी ट्रॉफी जीत है।

यह मैच बेंगलुरु के एम चिन्नास्वामी स्टेडियम में हुआ जहां मुंबई ने पहले बैटिंग करते हुए केवल 374 रन बनाए जिसके जवाब में मध्य प्रदेश यश दुबे, शुभम शर्मा और रजत पाटीदार की शतकीय पारियों के दम पर 536 रनों का स्कोर खड़ा करने में सफल रहा। यही से मध्यप्रदेश मैच में भारी होता चला गया और उसके बाद जब मुंबई की दूसरी पारी आई तो वह केवल 269 रनों पर ढेर हो गए।
इसके चलते मध्य प्रदेश को 108 रन जीत के लिए मिले जो उन्होंने 3 विकेट के नुकसान पर हासिल किए थे। इस बार भी शुभमन शर्मा और रजत पाटीदार अच्छी पारियां खेल पाए।
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शर्मा ने 30 रन बनाए और वे आउट हो गए। रजत पाटीदार ने 37 गेंदों पर 30 रनों की तेज पारी और वे नाबाद रहे। इस तरह से मध्यप्रदेश ने यह लक्ष्य 29.5 ओवर में ही हासिल कर लिया। शम्स मुलानी को 3 विकेट मिले।
इससे पहले मुंबई की टीम ने पहली पारी में भारी लीड खाने के बाद हार से बचने के लिए तेज बैटिंग करने की कोशिश की। टॉप ऑर्डर पूरी तरह से आक्रामक था लेकिन केवल एक ही बल्लेबाज अर्धशतक लगाने में कामयाब रहा। रणजी ट्रॉफी में पहली पारी की बढ़त के आधार पर आप मैच जीत जाते हैं इसलिए मुंबई को मैच बचाने के लिए किसी भी हाल में टारगेट देना ही था।
इसलिए तेज बल्लेबाज चलती रही, इस फेर में मुंबई की टीम 269 रन बनाकर ढेर हो गई। सरफराज खान निश्चित तौर पर एक और शतक बना देते, अगर मैच में तेज खेलने और पारी को जल्द से समाप्त करने की दरकार ना होती तो। फिर भी उन्होंने 48 गेंदों पर 45 रनों की तेज पारी खेली।
रणजी सीजन में कमाल दिखाने वाले सरफराज खान को मैन ऑफ द सीरीज और मैच में बढ़िया प्रदर्शन करने वाले शुभम शर्मा को मैन ऑफ द मैच अवॉर्ड दिया गया।