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धोनी की एक सलाह से पलट गया था पासा.. हरभजन ने सुनाई 2011 WC सेमीफाइनल की अनसुनी कहानी

2011 का वनडे वर्ल्ड कप भारतीय फैंस कभी नहीं भूल सकते। फाइनल में टीम इंडिया ने श्रीलंका को 6 विकेट से हराकर 28 साल बाद वर्ल्ड कप कब्जा जमाया था।

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नई दिल्ली, 15 अगस्त: 2011 का वनडे वर्ल्ड कप भारतीय फैंस कभी नहीं भूल सकते। फाइनल में टीम इंडिया ने श्रीलंका को 6 विकेट से हराकर 28 साल बाद वर्ल्ड कप कब्जा जमाया था। साथ ही भारत दुनिया का पहला ऐसा देश भी बना था, जिसने टूर्नामेंट की मेजबानी करते हुए खिताब अपने नाम किया हो। वर्ल्ड कप के सेमीफाइनल में टीम इंडिया ने चिर प्रतिद्वंदी पाकिस्तान को धूल चटाई थी। उसी मैच का एक अनसुना किस्सा हरभजन सिंह ने हाल ही में शेयर किया।

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29 रन से जीता था भारत

29 रन से जीता था भारत

सेमीफाइनल में भारत ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी कर 260/9 का स्कोर बनाया था। सचिन तेंदुलकर ने सबसे ज्यादा 85 रन की पारी खेली थी, जबकि वीरेंद्र सहवाग (38) और सुरेश रैना 36 रन बनाकर नाबाद रहे थे। पाक की ओर से वहाब रियाज के खाते में 5 विकेट आए थे। 261 रन का पीछे करते हुए पाकिस्तान की पूरी टीम 49.5 ओवर के खेल में 231 पर ऑल-आउट हो गई थी और टीम इंडिया ने 29 रन से मुकाबला जीतकर फाइनल का टिकट कटाया था।

कैसे पलटा था मुकाबला

कैसे पलटा था मुकाबला

टारगेट का पीछा करते हुए पाक का स्कोर एक समय 106-4 था। इसके बाद मिस्बाह-उल-हक और उमर अकमल ने बढ़िया साझेदारी कर टीम को मैच में वापस ला खड़ा किया। दोनों ने 5वें विकेट के लिए 36 रन जोड़ लिए थे और अकमल अच्छी लय में नजर आ रहे थे। वह 24 गेंदों में 1 चौके और 2 छक्के की मदद से 29 रन बना चुके थे। तभी कप्तान एमएस धोनी ने हरभजन सिंह को गेंद थमाई और उन्हें कुछ सलाह भी दी। हरभजन अगला ओवर डालने के लिए आए और पहली ही गेंद पर उमर अकमल को क्लीन बोल्ड कर दिया।

भज्जी ने सुनाई अनसुनी कहानी

भज्जी ने सुनाई अनसुनी कहानी

हरभजन सिंह ने स्टार स्पोर्ट्स के शो 'दिल से इंडिया' में कहा, ''यह उन मैचों में से एक था, जहां मुझे लगा कि मैं थोड़ा नर्वस हो रहा हूं। मैंने 5 ओवर फेंके थे, जिसमें लगभग 26-27 रन दिए। इसके बाद ड्रिंक्स ब्रेक हुआ और उस समय धोनी ने मुझसे कहा, 'भज्जू पा, आप वहां से डालोगे' (विकेट के आसपास)। कामरान अच्छा खेल रहा था और मिस्बाह भी। वे रन बना रहे थे और उनके बीच की साझेदारी खतरनाक होती जा रही थी।''

चल गई भज्जी की फिरकी

चल गई भज्जी की फिरकी

पूर्व दिग्गज ऑफ स्पिनर ने आगे कहा, "फिर मैं गेंदबाजी करने आया और मैंने भगवान को याद किया। मैंने सिर्फ जीत के लिए प्रार्थना की और भगवान ने मेरी बात सुन ली। जैसे मैंने विकेट के आसपास गेंदबाजी की, वैसे ही पहली ही गेंद पर मुझे कामरान अकमल का विकेट मिल गया। वह पूरी तरह से मेरी गेंद पर चकमा खा गए।"

सेमीफाइनल में हरभजन ने 10 ओवर में केवल 43 रन देकर 2 विकेट लिए थे। अकमल के अलावा भज्जी ने पाक कैप्टन शाहीद अफरीदी को भी चलता किया था।

फिर नहीं संभला पाक

फिर नहीं संभला पाक

उमर अकमल के विकेट के बाद पाकिस्तान का स्कोर 33.1 ओवर में 142-5 था। इसके बाद कोई भी खिलाड़ी विकेट पर डटने का साहस नहीं दिखा सका और पूरी टीम 231 पर सिमट गई। भारत की यादगार जीत में सभी गेंदबाजों का दमदार प्रदर्शन रहा। जहीर खान, आशीष नेहरा, मुनाफ पटेल, हरभजन सिंह और युवराज सिंह सभी के खाते में 2-2 विकेट आए।

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English summary
Harbhajan Singh reveals how MS Dhoni suggestion changed IND vs PAK 2011 semifinal result
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