गुजरात में कंपनी की कर्मचारियों को हिदायत- गुटखा-बीड़ी की लत नहीं छोड़ सकते तो नौकरी छोड़ दें
राजकोट. गुजरात में एक कंपनी ने अपने कर्मचारियों को हिदायत दी है कि वे गुटखा, बीड़ी-सिगरेट वाली बुरी आदतें छोड़ें और काम करें। यदि वे अपनी इस लत को नहीं छोड़ सकते, तो नौकरी छोड़ दें। कंपनी का रूल है कि, सभी कर्मचारियों समय-समय पर मेडिकल चैकअप कराए। यह कंपनी है, राजकोट की पर्व मेटल ग्रुप ऑफ कंपनी। पर्व मेटल ग्रुप ऑफ कंपनी ने पिछले साल जून में अभियान चलाया था कि वो अपने कर्मचारियों को बुरी आदतों से मुक्त करेगी।
नशे
की
लत
और
व्यसन
से
दूर
रहने
की
हिदायत
कंपनी
के
मैनेजिंग
पार्टनर
सहदेव
सिंह
झाला
के
मुताबिक,
पर्व
मेटल
ग्रुप
ऑफ
कंपनी
में
150
कारीगरों
और
अन्य
स्टाफ
से
यही
अनुरोध
किया
गया
है
कि,
वे
नशे
की
लत
से
दूर
रहें।
कर्मचारियों
की
तंबाकू,
गुटखा,
बीड़ी-सिगरेट
जैसी
लतें
छुड़ाने
के
लिए
ही
कंपनी
ने
पिछले
साल
जून
में
एक
अभियान
चलाया
था।
बकौल
झाला,
यह
कंपनी
अपने
कर्मचारियों
के
स्वास्थ्य
के
प्रति
हमेशा
सजग
रहती
है।'
'मंदी
के
दौर
में
यह
अच्छा
प्रयोग
है'
झाला
कहते
हैं,
दुनियाभर
में
मंदी
का
दौर
चल
रहा
है।
हमने
मंदी
का
सकारात्मक
इस्तेमाल
करने
का
फैसला
लिया
है,
और
हमें
अपने
इस
काम
में
कामयाबी
भी
मिली
है।
ज्यादातर
कर्मचारी
यह
मान
गए
हैं
कि,
वे
नशे
की
लत
और
व्यसन
त्यागेंगे।
हमने
देखा
कि
बहुत
सारी
कंपनियां
बंद
हो
रही
हैं,
तो
हमने
तय
कि
हमारे
कर्मचारियों
को
नौकरी
या
व्यसन
में
से
किसी
एक
को
चुनना
ही
होगा।
गुजरात
में
मंदी
से
बढ़
रही
बेरोजगारी
केंद्र
सरकार
की
एक
रिपोर्ट
के
अनुसार,
गुजरात
में
बेरोजगारी
में
सबसे
तेज
इजाफा
हुआ
है।
देश
के
बड़े
राज्यों
में
गुजरात
ऐसा
है,
जहां
बेरोजगारी
छह
साल
में
दस
गुना
बढ़ी।
वर्ष
2017-18
में
राष्ट्रीय
स्तर
पर
बेरोजगारी
दर
6.1
फीसदी
थी
जबकि
2011-12
में
यह
2.2
फीसदी
थी।
यानी
छह
सालों
में
यह
तीन
गुना
बढ़
गई
है।
यह
खुलासा
राष्ट्रीय
नमूना
सर्वेक्षण
कार्यालय
(एनएसएसओ)
की
एक
रिपोर्ट
में
किया
गया
था।
इस
रिपोर्ट
के
मुताबिक
2017-18
में
देश
के
11
राज्यों
में
बेरोजगारी
की
दर
राष्ट्रीय
औसत
से
अधिक
थी।
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