विजय कुमार गोठवाल: पहले दी प्रधानमंत्रियों को सुरक्षा, अब रिटायरमेंट के बाद तराश रहे प्रतिभाएं, देखें VIDEO
चूरू। नौकरी से रिटायर होने के बाद अक्सर लोग आरामदायक जिंदगी पसंद करते हैं। तीर्थ यात्राओं पर निकल जाते हैं या घर-परिवार में ही व्यस्त हो जाते हैं, मगर इस मामले में राजस्थान के चूरू जिला मुख्यालय से करीब 10 किलोमीटर दूर स्थित कस्बे रतननगर निवासी विजय कुमार गोठवाल की कहानी जुदा है।
खुद भी रहे हैं बेहतरीन खिलाड़ी
सेंट्रल पुलिस सेवा से रिटायर होने के बाद विजय कुमार गोठवाल ने अपने कस्बे में युवाओं की प्रतिभा को निखारने की ठानी और युवाओं को वॉलीबाल का निशुल्क प्रशिक्षण देना शुरू किया। इस फैसले की वजह यह है कि खुद विजय कुमार गोठवाल वॉलीबाल के बेहतरीन खिलाड़ी रह चुके हैं। वॉलीबाल में वर्ष 1982-83 में राज्य स्तर पर एवं वर्ष 1986-87 व वर्ष 1987-88 में नेशनल स्तर पर खेल चुके हैं।
चूरू के रतननगर में दे रहे प्रशिक्षण
चूरू के रतननगर में गोठवाल ने न्यू हीरोज खेलकूद एवं सांस्कृतिक संस्थान के वॉलीबाल खेल स्टेडियम में 12 मई से तीन सप्ताह के लिए समर कैंप लगाकर युवाओं व बच्चों को वॉलीबाल खेल का निशुल्क प्रशिक्षण दे रहे हैं।
गोठवाल ने बताया कि रतननगर में वॉलीबाल खेल का प्रचलन बहुत कम हो गया है उसको दुबारा से पुन: स्थापित करने के लिए कड़ी मेहनत करनी पड़ेगी। गत वर्ष की तरह उन्होंने इस बार भी समर कैंप का निर्णय लिया है। प्रशिक्षण के लिए 24 बच्चों का निशुल्क रजिस्टे्रशन कराया था।
हर शनिवार को करवाते हैं क्रॉस-कन्ट्री दौड़
प्रशिक्षण के पहले सप्ताह में फिजीकल-फिटनेस, फ्लेक्सीबिलिटी व मसल्स के लिए अभ्यास व दूसरे सप्ताह में वॉलीबाल के साथ बेसिक गतिविधियां चलाना तथा तीसरे सप्ताह में बाल के साथ व बिना बाल के फुटवर्क मुवमेंट, सर्विस प्रैक्टिस, स्मेस व लाक करना तथा कोर्ट में जोन व पोजिसन के बारे में सिखाया गया। प्रत्येक शनिवार को क्रॉस-कन्ट्री दौड़ व साथ ही रिलेक्स एक्सरसाइज करवाई गई।
जानिए कौन हैं विजय कुमार गोठवाल
बता दें कि रतननगर निवासी विजय कुमार गोठवाल दिसम्बर 1988 में सेंट्रल पुलिस ऑर्गेनाइजेशन में एसआई के पद पर भर्ती हुए थे। 28 साल तक सरकारी नौकरी करने के बाद दिसम्बर 2016 में असिस्टेंट कमान्डेंट के पद से सेवानिवृत्त हो गए। वर्तमान में फिजीकल एजुकेशन ट्रेनर के पद पर निजी संस्था से जुड़े हैं। गोठवाल सर्विस के दौरान 13 वर्ष तक अति विशिष्ट लोगो की सुरक्षा में भी लगे थे, जिसमें वर्ष 1991 से वर्ष 2004 तक कार्यकाल के सभी प्रधानमंत्री व पूर्व प्रधानमंत्री के सुरक्षा अधिकारी रहे हैं।
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