फौजी का इकलौता बेटा पहली पोस्टिंग में शहीद, पिता गांव में युवाओं को दे रहे सेना भर्ती की ट्रेनिंग
चूरू। कश्मीर के तंगधार में एलओसी पर पेट्रोलिंग के दौरान राजस्थान के चूरू के तारानगर तहसील के साहवा के कमल कुमार और झुंझुनूं जिले के खेतड़ी तहसील के गावं हरड़िया की ढहरवाली ढाणी के राजेन्द्र सिंह शहीद हो गए।
एलओसी पर पेट्रोलिंग पर थे जवान
बता दें कि दोनों अन्य जवानों के साथ मंगलवार को पेट्रोलिंग पर थे। इसी दौरान इनकी गाड़ी भयंकर हिमस्खलन की चपेट में आ गई। बर्फ में दबने के कारण दोनों जवान वीरगति को प्राप्त हो गए। साहवा शहीद कमल कुमार इकलौटे बेटे थे और तंगधार में इनकी पहली पोस्टिंग थी। अविवाहित कमल कुमार वर्ष 2018 में सेना में भर्ती हुए थे। इनके एक बहन है।
झुंझुनूं के राजेन्द्र सिंह और चूरू के कमल कुमार एलओसी पर शहीद, 2018 में भर्ती हुआ था साहवा का लाल
प्रथम वर्ष की पढ़ाई के दौरान बने फौजी
जानकारी के अनुसार तारानगर के साहवा के वार्ड नंबर एक निवासी धर्मेन्द्र कुमार ढींढवाल का बेटा कमल कुमार दो भाई बहनों में सबसे बड़ा था। साहवा के सुभाष चन्द्र बोस सीनियर विद्यालय से 12वीं उत्तीर्ण की थी। कॉलेज में दाखिला लिया। प्रथम वर्ष की पढ़ाई के दौरान भारतीय सेना में भर्ती हो गए थे। प्रशिक्षण के बाद कश्मीर के तंगधार में पहली पोस्टिंग मिली थी।
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बीकानेर लाई जाएगी पार्थिव देह
घटना स्थल से विशेष विमान में चूरू शहीद कमल कुमार की पार्थिव देह श्रीनगर स्थित सेना के अस्पताल में लाई गई। यहां से विशेष विमान के जरिए राजस्थान के बीकानेर स्थित जाट रेजिमेंट मुख्यालय ले जाया गया। इसके बाद पार्थिव देह साहवा पहुंचेगी। शुक्रवार को अंत्येष्टि हो सकती है।
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पिता सेना से रिटायर
शहीद कमल कुमार के पिता धर्मेन्द्र कुमार भारतीय सेना में हवलदार पद पर तैनात थे। रिटायर होने के बाद धर्मेन्द्र कुमार साहवा में युवाओं को फौज में भर्ती होने की तैयारी करवाते हैं। इनके बेटे कमल के शहीद होने पर साहवा में शोक की लहर है।
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