राजस्थान: सरकार का फैसला, बच्चों को अब किताबों में पढ़ाई जाएगी वाजपेयी की जीवनी
वाजपेयी की जीवनी अब किताबों में पढ़ाई जाएगी.
जयपुर। पूर्व प्रधानमंत्री एवं भारत रत्न अटल बिहारी वाजपेयी के निधन से भारत को बड़ी क्षति पहुंची है। उनकी जीवनी और उनके योगदान को देश के हर बच्चे और नौजवान को पढ़ना चाहिए। ऐसे में राजस्थान सरकार ने फैसला लिया है कि वाजपेयी की जीवनी और देश में उनके योगदान को राजस्थान के स्कूली बच्चे पढ़ेंगे। स्कूलों में वाजपेयी के बचपन से लेकर कविता-किताबों की ओर रूझान तथा परमाणु परीक्षण, कारगिल युद्ध, आपातकाल व वैश्विक स्तर पर देश को मिली पहचान और राष्ट्रभक्ति के अंश पढ़ाए जाएंगे।
हालांकि अभी यह तय नहीं हुआ है कि किस कक्षा के पाठ्यक्रम में उनकी जीवनी व योगदान जोड़ा जाएगा। छात्रों को हर महापुरुष के बारे में जानना चाहिए। राजस्थान के शिक्षा राज्य मंत्री वासुदेव देवनानी ने बताया कि राजस्थान के स्कूलों में विद्यार्थी जल्द ही पूर्व प्रधानमंत्री और भारत रत्न अटल बिहारी वाजपेयी की जीवनी पढ़ेंगे। अटल बिहारी वाजपेयी के जीवन से जुड़ी बातें और देश के लिए दिए गए उनके योगदान से युवा पीढ़ी को रूबरू करवाने के मकसद से जल्द ही इस पर काम शुरू हो जाएगा। वासुदेव देवनानी के अनुसार आधुनिक भारत में अटल बिहारी के बराबर कोई भी राजनेता नहीं है।
उन्होंने बताया कि वाजपेयी के जीवन का चित्रण छात्र जीवन से ही बच्चों को बेहतर इंसान बनने के लिए प्रेरित करने में मदद करेगा। छात्रों के अंदर राष्ट्रीयता की भावना जागृत करने एवं महापुरुषों के विचार व उनके चले मार्गों को अपनाने के लिए 'राष्ट्रीय महापुरुषों की कहानियां' किताब में अटल बिहारी वाजपेयी की जीवनी को भी शामिल किया जाएगा। राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड पाठ्यक्रम का निर्धारण करता है, उसे ही प्रस्ताव बनाकर भेजा जाएगा। उन्होंने कहा कि अटल बिहारी वाजपेयी के लिए सच्ची श्रद्धाजंलि होगी, कि बच्चे उनके जीवन से प्रेरित होकर अपना भविष्य बनाएं।
गौरतलब है कि राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड ने वर्ष 2015-16 के पाठ्यक्रम में संशोधन किया था। इसके तहत बच्चों को बहुत सारे नेशनल हीरो के जीवन, विचारों, अनुभव सहित विभिन्न पक्षों के बारे में पढ़ाया जा रहा है। इनमें स्वतंत्रता सेनानी व आरएसएस के विचारक वीर सावरकर, भाजपा के संस्थापक दीन दयाल उपाध्याय आदि शामिल हैं। पाठ्यक्रम संशोधन के तहत वर्तमान में कक्षा ग्यारहवीं में अटल बिहारी वाजपेयी से जुड़े तीन पैराग्राफ भी जोड़े गए हैं।