राजस्थान में फिर हो सकता है गुर्जर आरक्षण आंदोलन, सुबह पिलूपुरा में गुर्जरों की महापंचायत में तय होगा
भरतपुर। राजस्थान में आरक्षण को लेकर हुंकार भरने वाले गुर्जर फिर आंदोलन की राह पर हैं। 17 अक्टूबर को तय होगा कि राजस्थान गुर्जर आरक्षण आंदोलन फिर से होगा या नहीं। इसके लिए गुर्जरों ने कर्नल किरोड़ी सिंह बैसला के नेतृत्व में राजस्थान के भरतपुर जिले की बयाना तहसील में पीलूपुरा के पास गांव अड्डा में शनिवार सुबह महापंचायत बुलाई है।
पीलूपुरा गुर्जर महापंचायत को लेकर प्रशासन अलर्ट
पीलूपुरा में गुर्जरों की महापंचायत को लेकर भरतपुर जिला प्रशासन अलर्ट पर है। भरतपुर जिला कलेक्टर नथमल डिडेल व जिला पुलिस अधीक्षक अमनदीप सिंह कपूर ने इलाके का दौरा कर जायजा लिया। मौके पर भारी संख्या में पुलिसकर्मी तैनात किए गए हैं।
यहां क्लिक करके जानिए गुर्जर आरक्षण आंदोलन का पूरा इतिहास
इधर, राजस्थान उच्च न्यायालय ने गुर्जर महापंचायत को लेकर कहा कि गुर्जर आरक्षण समिति को जिला कलेक्टरों के आदेशों की पालना करनी होगी। सौ से अधिक लोगों की अनुमति नहीं दी गई है।
14 साल से आंदोलनरत हैं गुर्जर
दरअसल, बीते 14 साल से राजस्थान में गुर्जर आरक्षण को लेकर आंदोलनरत हैं। छह बार बड़े स्तर पर आंदोलन कर चुके हैं। अब तक 72 लोग मारे जा चुके हैं। अभी भी गुर्जरों के मुताबिक उनकी मांग पूरी नहीं हुई। ऐसे में अब वर्ष 2020 में गुर्जर सातवीं आंदोलन की राह पर हैं।
पहले मलारना डूंगर में होनी महापंचायत
बीते दिनों गुर्जरों में बैठक करके राजस्थान सरकार को 17 अक्टूबर तक का अल्टीमेटम दिया था। 17 अक्टूबर को सवाई माधोपुर के मलारना डूंगर में गुर्जरों की महापंचायत का ऐलान किया गया था। दो दिन पहले गुर्जर नेता कर्नल किरोड़ी सिंह बैंसला ने पत्रकार वार्ता कर मलारना डूंगर की बजाय पीलूपुरा में महापंचायत किए जाने की जानकारी दी।
कर्नल बैंसला के बेटे भी सक्रिय भूमिका में
गुर्जर नेता कर्नल किरोड़ी सिंह बैंसला के बेटे विजय बैंसला भी गुर्जर आंदोलन में सक्रिय भूमिका निभा रहे हैं। उन्होंने कहा कि राजस्थान सरकार समय रहते जाग जाए तो अच्छा है अन्यथा गुर्जर समुदाय सरकार को जगाना जानता है। उन्होंने आरोप लगाया कि वर्ष 2019 के फरवरी में गुर्जर आंदोलन के बाद राजस्थान सरकार ने उनकी मांगों को लेकर जो समझौता किया वो अभी तक लागू नहीं किया।
गुर्जर समाज के विधायकों से भी आह्वान
गुर्जर नेताओं ने अपने समाज के विधायकों से भी आह्वान किया है कि सभी विधायक 17 अक्टूबर को पीलूपुरा के पास अड्डा गांव में होने वाली गुर्जर महापंचायत में भाग लें अन्यथा समाज उनको भी सबक सिखाने का काम करेगा।
ये हैं गुर्जरों की मांगें
गुर्जर नेताओं के अनुसार पूर्व में हुई गुर्जर आरक्षण आंदोलन के समय राजस्थान सरकार के साथ जो समझौता हुआ था उसे सरकार पूरा करें। समाज के कोटा के अनुसार जो बैकलॉग है उसके मुताबित गुर्जर समाज के युवाओं को सरकारी नौकरियों में नियुक्ति दें। पूर्व में हुए गुर्जर आंदोलन के दौरान जो शहीद हुए थे उनको सम्मान देने का काम सरकार करें।
राजस्थान गुर्जर आंदोलन 2020 : आरक्षण के लिए सरकार को अल्टीमेटम, 17 अक्टूबर को महापंचायत