अंधविश्वास : यहां बच्चों को भूत-प्रेत और बीमारियों से बचाता है मुर्गा, देखें अनूठी परम्परा का VIDEO
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भरतपुर। आधुनिक जमाने में भी अंधविश्वास लोगों का पीछा नहीं छोड़ रहा है। ऐसा ही एक मामला सोमवार को राजस्थान के भरतपुर में सामने आया है, जहां मुर्गा बच्चों को भूत, प्रेत आत्माओं और बुरी नजर से बचाता दिखा।
दरअसल, भरतपुर में सोमवार को कुआं वाली देवी की जात लगती है। इस मौके पर यहां छोटा सा मेला भी भरता है। मेले में महिलाएं अपने नवजात शिशुओं को लेकर पहुँचती हैं। वहीं कुछ मुस्लिम लोग मेले में मुर्गा लेकर बैठे रहते हैं और बच्चों के सिर पर मुर्गा घुमाते हैं।
कुआं वाली जात से जुड़ी है मान्यता
मुर्गे के पैर को बच्चों के सिर पर रखकर उनको भूत प्रेत, बुरी नजर आदि से बचाने का दावा करते हैं। मान्यता यह भी है की मुर्गा को बच्चे के सिर पर फहराने के बाद बच्चों को बीमारी भी नहीं होती है। मेले में वहां बच्चों को लेकर आयी महिलाओं का कहना है कि कुआं वाली जात में वे अपने बच्चों को लेकर आती हैं, जहाँ मुर्गा उनके बच्चों के सिर पर फेहरवाती है। इससे उनके बच्चे भूत, प्रेत आत्माओं, बुरी नजर व बीमारियों से दूर रहते हैं।
चार सोमवार को भरता है यह मेला
बच्चों के सिर पर मुर्गा फहराने की एवज में मुर्गा के मालिक बच्चों के माता-पिताओं से 11 रुपए से लेकर 151 रुपए तक वसूल करते हैं। मुर्गा फेरने का यह सिलसिला वर्ष में सिर्फ 4 सोमवार को ही होता है। जब बच्चा एक वर्ष का होता है तब उसके सिर के बाल काटे जाते हैं जो देवी पर चढ़ाए जाते हैं। यह मेला जिला पुलिस अधीक्षक कार्यालय से महज 50 मीटर की दूरी पर सड़क पर ही आयोजित होता है।