पंजाब: शहीद भगत सिंह की जयंती पर उनके गांव आए CM मान, चढ़ाए फूल, बोले- वे हमेशा प्रेरित करते रहेंगे
खटकड़ कलां। पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान आज शहीद भगत सिंह की जंयती पर उनके पैतृक गांव खटकड़ कलां में आए। यहां आकर पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने शहीद भगत सिंह को नमन किया। उन्होंने लोगों को शहीद भगत सिंह की राह पर चलने का संदेश दिया। इसके बाद मुख्यमंत्री भगवंत मान ने पंजाब में शहीद भगत सिंह राज्य युवा पुरस्कार शुरू करने की भी घोषणा की। सरकार की ओर से कहा गया कि, इस पुरस्कार के तहत 46 नौजवानों को 51 हजार पुरस्कार राशि दी जाएगी।

पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने कहा कि, भगत सिंह नौजवानों के प्रेरणा स्त्रोत हैं। उन्होंने कहा कि, आज पंजाब के स्कूलों में छुट्टी नहीं की गई है। आज बच्चों को स्कूलों में शहीद भगत सिंह के बारे में पढ़ाया जा रहा है।

हम अपनी आजादी की रक्षा करें: सीएम मान
मुख्यमंत्री ने पहले शहीद भगत सिंह, राजगुरु, सुखदेव और बटकेश्वर दत्त के स्मारकों पर फूल मालाएं अर्पित कीं। उसके बाद लोगों को संबोधित किया। श्रद्धांजलि देकर मुख्यमंत्री ने कहा कि ये शहीद हमारे प्रेरणा स्रोत हैं और हमारे दिलों में हमेशा जिंदा रहेंगे। मुख्यमंत्री ने कहा कि हम सबके लिए जरूरी है कि इन शहीदों द्वारा दिखाए रास्ते पर चलकर इनके सभी अधूरे सपनों को पूरा करें और आजादी की रक्षा करें।'

सरदार भगत सिंह के बलिदान को याद करें
सरदार भगत सिंह पर बोलते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि, उनकी वीरता और बलिदान को याद कीजिए..। महज 23 वर्ष की उम्र में सरदार भगत सिंह ने कुर्बानी देकर हमारे देश को अंग्रेजी हुकूमत से आजाद करवाया। उनकी कुर्बानी की बदौलत हमें आज अपने वोटर कार्ड और अपनी मनपसंद की सरकार बनाने के लिए वोट डालने का अधिकार मिला है। मैं कहूंगा कि इस अधिकार को किसी लालच में आकर गलत ढंग से इस्तेमाल ना करना।'

इसी गांव में ली थी मुख्यमंत्री पद की शपथ
गौरतलब है कि, खटकर कलां में ही भगवंत मान का शपथ ग्रहण समारोह हुआ था। यहीं उन्हेांने पंजाब के मुख्यमंत्री के तौर पर शपथ ली थी। तब मान ने कहा था कि, ''मैं ज्यादा से ज्यादा लोगों से शपथ ग्रहण समारोह के लिए 16 मार्च को खटकर कलां पहुंचने का अनुरोध करता हूं। उन्होंने कहा कि, सभी लोग जरूर आएं।' दरअसल इस साल चुनाव में भगवंत मान ने आम आदमी पार्टी की जीत के बाद ही यह ऐलान कर दिया था कि, वे राजधानी चंडीगढ़ में नहीं, बल्कि शहीद-ए-आजम भगत सिंह के गांव में उनके शहीदी स्मारक पर सीएम पद की शपथ लेंगे।
3 ਸਾਲ ਦੀ ਛੋਟੀ ਉਮਰੇ ਕਹਿਣਾ…ਮੈਂ ਦੰਬੂਖਾਂ(ਬੰਦੂਕਾਂ) ਬੀਜਦਾ…23 ਸਾਲ ਦੀ ਉਮਰੇ ਅੰਗਰੇਜ਼ਾਂ ਕੋਲੋਂ ਆਪਣਾ ਦੇਸ਼ ਮੰਗਣਾ…ਇਹ ਕ੍ਰਾਂਤੀਕਾਰੀ ਸੋਚ ਤੇ ਇਨਕਲਾਬੀ ਵਿਚਾਰ ਸ਼ਹੀਦ ਸ. ਭਗਤ ਸਿੰਘ ਜੀ ਦੇ ਹਿੱਸੇ ਆਏ…
ਅੱਜ ਸ਼ਹੀਦ ਸ.ਭਗਤ ਸਿੰਘ ਜੀ ਦੀ ਜਨਮ ਵਰ੍ਹੇਗੰਢ ਮੌਕੇ ਇਨਕਲਾਬੀ ਰੂਹ ਨੂੰ ਸੀਸ ਝੁਕਾ ਪ੍ਰਣਾਮ ਕਰਦਾ ਹਾਂ…
ਇਨਕਲਾਬ ਜ਼ਿੰਦਾਬਾਦ! pic.twitter.com/BgVjWQT405
— Bhagwant Mann (@BhagwantMann) September 28, 2022