रघुवंश प्रसाद सिंह के पार्टी पद से इस्तीफे से तेजस्वी को लगा दोहरा झटका
पटना। पांच पार्षदों के पार्टी छोड़ने के अलावा राजद को एक और झटका तब लगा जब पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष रघुवंश प्रसाद सिंह ने इस्तीफा दे दिया। ऐसी चर्चा है कि लोजपा के बाहुबली नेता और पूर्व सांसद रामा सिंह 29 जून को राजद ज्वाइन करने वाले हैं। रामा सिंह ने तेजस्वी यादव से मुलाकात की जिसके बाद से इसके कयास लगने लगे कि वह राजद में शामिल होंगे। बताया जाता है कि रघुवंश प्रसाद सिंह रामा सिंह के राजद ज्वाइन करने की खबरों से नाराज हैं। रघुवंश प्रसाद सिंह कोरोना संक्रमण के शिकार हैं और पटना एम्स में उनका इलाज चल रहा है।
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रामा
सिंह
और
लालू
रहे
हैं
कट्टर
विरोधी
बिहार
की
राजनीति
में
रामा
सिंह,
लालू
और
रघुवंश
प्रसाद
सिंह
के
कट्टर
विरोधी
रहे
हैं।
रामा
सिंह
ने
ही
2014
के
लोकसभा
चुनाव
में
वैशाली
सीट
पर
रघुवंश
प्रसाद
सिंह
को
एक
लाख
से
ज्यादा
वोटों
से
हराया
था।
रामा
सिंह
के
राजद
ज्वाइन
करने
की
खबर
से
सियासी
गलियारे
में
ऐसी
चर्चा
है
कि
पार्टी
के
राष्ट्रीय
उपाध्यक्ष
पद
से
इस्तीफा
देने
वाले
रघुवंश
प्रसाद
सिंह
ही
नहीं,
कई
अन्य
नेता
भी
खफा
हैं।
पांच
पार्षदों
ने
ज्वाइन
की
जेडीयू
नीतीश
सरकार
में
कैबिनेट
मंत्री
अशोक
चौधरी
ने
जीतन
राम
मांझी
की
जदयू
में
वापसी
की
अटकलों
पर
जवाब
देते
हुए
यह
कहा
था
कि
राजद
और
कांग्रेस
के
कई
नेता
अपनी
पार्टी
छोड़कर
जदयू
में
आने
वाले
हैं।
उनकी
यह
बात
तब
सच
निकल
गई
जब
राष्ट्रीय
जनता
दल
के
5
एमएलसी,
राधा
चरण
सेठ,
संजय
प्रसाद,
रणविजय
सिंह,
दिलीप
राय
और
कमरे
आलम
ने
जदयू
ज्वाइन
कर
ली।
बिहार
के
सियासी
गलियारे
में
पांच
पार्षदों
का
पार्टी
छोड़
जाना
तेजस्वी
यादव
के
लिए
झटका
माना
जा
रहा
है।
बिहार
में
दलबदल
जोरों
पर
बिहार
विधानसभा
चुनाव
नजदीक
है
और
विधान
परिषद
के
चुनाव
भी
होने
वाले
हैं।
ऐसे
में
बिहार
में
नेताओं
का
इस
दल
से
उस
दल
में
जाने
का
सिलसिला
जारी
है।
16
जून
को
जेडीयू
के
पूर्व
विधान
पार्षद
जावेद
इकबाल
अंसारी
राजद
में
शामिल
हुए।
जदयू
नेता
रामनरेश
सिंह
की
बेटी
शगुन
सिंह
भी
राजद
में
शामिल
हुईं।
अब
मंगलवार
को
पांच
पार्षद
राजद
छोड़कर
जदयू
में
चले
गए
हैं।
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