हनीप्रीत जेल से बाहर आने के बाद पहली बार कोर्ट में पेश हुई, अब इन धाराओं में चलेगा उस पर केस
पंचकूला। जमानत पर बाहर चल रही हनीप्रीत हरियाणा में बुधवार को पहली बार कोर्ट में पेश हुई। कोर्ट में पंचकूला में हुए दंगों के मामले की सुनवाई हुई, जिसमें हनीप्रीत समेत डेरा सच्चा सौदा प्रमुख के कई समर्थक आरोपी हैं। सुनवाई के बाद कोर्ट ने इस मामले में 13 दिसंबर आगे की तारीख दी है। बता दें कि, हनीप्रीत को बीते 6 नवंबर को ही सीजेएम कोर्ट से जमानत मिली थी। उससे पहले उसके ऊपर एफआईआर-345 में लगी देशद्रोह की धाराएं 121 व 121 ए हटा दी गई थीं। अब सभी (हनीप्रीत समेत 15 आरोपियों) पर आईपीसी की धारा 216, 145, 150, 151, 152, 153 व 120-बी के तहत आरोप लगे हैं। बचाव पक्ष के वकील के मुताबिक, आरोप तय होने के बाद 13 दिसंबर को आरोपितों के हस्ताक्षर होने के बाद एविडेंस होने शुरू हो जाएंगे और कोर्ट में ट्रायल चलता रहेगा।
पंचकूला हिंसा मामले में मुख्य आरोपी है हनीप्रीत
बता दें कि, हरियाणा पुलिस की ओर से हनीप्रीत समेत करीब 45 आरोपियों को लेकर 1200 पन्नों की चार्जशीट पेश की गई है। इन आरोपियों में सुरेंद्र धीमान, गुरमीत, शरणजीत कौर, गोबिंद, प्रदीप, गुरमीत, दान सिंह, सुखदीप कौर, सीपी अरोड़ा, खैराती लाल, राकेश व अन्य शामिल हैं। जिनमें से कई को कोर्ट भगोड़ा भी करार दे चुकी है।
राम रहीम को सजा मिलने के बाद भड़की थी हिंसा
राम रहीम को 25 अगस्त, 2017 को कोर्ट ने साध्वी यौन शोषण मामले में दोषी करार दिया था। उसको जेल होती देख उसके समर्थक भड़क उठे। समर्थकों द्वारा हनीप्रीत के इशारों पर पंजाब और हरियाणा में आगजनी, दंगे की व्यापक घटनाएं हुईं। जिनमें 40 से ज्यादा लोग मारे गए थे।पुलिस ने इस मामले में हनीप्रीत, डेरा के प्रवक्ता आदित्य इन्सां सहित 1000 लोगों के खिलाफ 177 एफआईआर दर्ज की थीं।
38 दिनों तक पुलिस के हाथ नहीं आई थी हनीप्रीत
केस दर्ज होते ही हनीप्रीत छुप गई थी। पुलिस उसे ढूंढ रही थी, लेकिन वह 38 दिनों तक पुलिस के हाथ नहीं आई। सितम्बर 2017 में उसने पुलिस के समक्ष आत्मसमर्पण किया। हालांकि, पुलिस ने दावा किया कि उन्होंने हनीप्रीत को पंजाब से गिरफ्तार किया है। इसके बाद वह अम्बाला जेल में बंद कर दी गई थी।