जमात उद दावा ने कहा मोदी सरकार को खुश करने के लिए नवाज ने मनाई थी होली
हाफिज सईद की गैर-मौजूदगी में जमात-उद-दावा की जिम्मेदारी संभाल रहे हाफिज अब्दुल रहमान मक्की ने कहा प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने भारत की मोदी सरकार को खुश करने के लिए होली त्यौहार में की थी शिरकत।
लाहौर। जमात-उद-दावा के एक्टिंग चीफ हाफिज अब्दुल रहमान मक्की ने गुरुवार को पाकिस्तान के प्रधानमंत्री नवाज शरीफ को होली का त्यौहार मनाने पर फटकार लगाई है। आपको बता दें कि मक्की हाफिज सईद का साला है और क्योंकि हाफिज सईद अभी नजरबंद है इसलिए वही संगठन का जिम्मा संभाल रहा है।
एक साथ नहीं रह सकते हैं हिंदु-मुसलमान
मक्की ने कहा, 'प्रधानमंत्री और सरकार के दूसरे लोगों ने हिंदुओं का त्याहौर होली सिर्फ इसलिए मनाया ताकि वह भारत सरकार को खुश कर सकें। इस देश के शासकों को यह बात समझनी होगी कि मुसलमान और हिंदुओं के दो अलग-अलग देश हैं। उनकी संस्कृति और सभ्यता भी अलग है। वे एक साथ नहीं रह सकते हैं।' मक्की मुंबई आतंकी हमलों के मास्टरमाइंड हाफिज सईद का साला है और उसने यह बात लाहौर में हुई एक प्रेस कांफ्रेंस के दौरान कही है। मक्की ने कहा पाकिस्तान के शासक भारत से दोस्ती करने के लिए इस देश की विचारधारा को कमजोर कर रहे हैं। मक्की के मुताबिक उसके जैसे लोग इस विचारधारा को बचाएंगे और दुश्मन से लड़कर इस देश को और मजबूत बनाएंगे। 14 मार्च को कराची में आयोजित कार्यक्रम में नवाज ने शिरकत की थी और यहां पर उन्होंने एक प्रभावी भाषण भी दिया था।
नवाज के खिलाफ कुफ्र फतवा भी
नवाज के भाषण की वजह से पाक के एक मौलवी अल्लामा अशरफ जलाली ने उनके खिलाफ फतवा जारी किया है। उन्होंने नवाज पर इस्लाम का अपमान करने का आरोप लगाया है। होली के कार्यक्रम में पीएम नवाज ने जो भाषण दिया था, उसे एतिहासिक करार दिया था। नवाज ने अपने भाषण में सहिष्णुता, धार्मिक सद्भाव और हर किसी से शांति से मिल-जुलकर रहने की अपील की थी। नवाज ने हिंदुओं को होली की शुभकामनाएं देते हुए प्रभावी भाषण दिया था। नवाज ने कहा था, 'दो साल पहले मैं आपका हो गया था और आप मेरे हो गए थे। आज हमारा यह रिश्ता और ज्यादा मजबूत हो गया है।' नवाज इसी भाषण की वजह से पाक के कट्टरपंथियों के निशाने पर आ गए हैं।नवाज के भाषण को इस्लाम का अपमान बताते हुए जलाली ने उनसे सार्वजनिक तौर पर माफी की मांग की है। जलाली का कहना है कि नवाज ने पाकिस्तान का प्रधानमंत्री बनते समय जो शपथ ली थी, उसका भी अपमान किया है।