पाकिस्तान की परफॉर्मेंस से नाखुश IMF, कहा अगर चाहिए पैसे तो रवैये में करो सुधार
इस्लामाबाद। पाकिस्तान में आर्थिक हालात दिन पर दिन खराब होते जा रहे हैं और सारी नजरें अब अंतरराष्ट्रीय मुद्राकोष (आईएमएफ) से मिलने वाले बेलआउट पर टिकी हुई हैं। लेकिन वित्तीय कर्जे के बढ़ते दबाव के बीच ही बुरी खबर यह है कि आईएमएफ पाकिस्तान के हालातों से खुश नहीं है। पीटीआई की रिपोर्ट के मुताबिक आईएमएफ की एक टेक्निकल टीम इन दिनों पाकिस्तान में है। इमरान खान की सरकार से अभी एक और दौर की वार्ता होनी है। इस वार्ता में बेलआउट के लिए जरूरी योग्यता को परखेंगे।
बिजली पर सब्सिडी को करें खत्म
आईएमएफ ने पाकिस्तान की तरक्की पर असंतोष जाहिर किया है। आईएमएफ ने सरकार से कहा है कि वह अपने फाइनेंशियल सेक्टर से और ज्यादा रिटर्न हासिल करने की कोशिशें करे। टीम की ओर से पाक सरकार से यह भी कहा गया है कि वह पावर सेक्टर में सुधार लाने के लिए बिजली पर जारी सब्सिडी को खत्म करे। आईएमएफ ने इसके साथ ही इस बात पर भी नाखुशी जाहिर की है कि चार वर्ष पहले 14 सूत्रीय जो एजेंडा हालातों को सुधारने के लिए बनाया गया था, उसे भी पूरी तरह से लागू करने में पाकिस्तान पूरी तरह से असफल रहा है।
पाक को दिया नया परफॉर्मेंस चार्ट
पाकिस्तान ने कर्ज से जुड़ा एक सर्कुलर आईएमएफ को दिया है लेकिन सर्कुलर भी आईएमएफ टीम को खुश करने में असफल रहा है। बताया जा रहा है कि आईएमएफ की ओर से पाकिस्तान को परफॉर्मेंस से जुड़ा एक नया चार्ट दिया गया है। आईएमएफ ने साफ कर दिया है कि अगर पाकिस्तान को बेलआउट चाहिए तो फिर उसे इस चार्ट को लागू करना ही होगा। आईएमएफ की टीम सात अक्टूबर को पाकिस्तान पहुंची थी और अगले दो हफ्तों तक देश में रुकेगी। इस दौरान पाक के कई और वित्तीय सेक्टर्स में संभावित बेलआउट पैकेज पर बातचीत की जाएगी।
पाक को चाहिए कम से कम छह बिलियन डॉलर
पाकिस्तान बड़ी उम्मीद से आईएमएफ की तरफ देख रहा है। पाक को संकट से बाहर आने के लिए कम से कम आईएमएफ से छह बिलियन डॉलर की मदद चाहिए। प्रधानमंत्री इमरान खान हाल ही में सऊदी अरब और चीन के दौरे से लौटे हें। इन देशों की तरफ से पाकिस्तान को करीब छह बिलियन डॉलर देने का वादा किया जा चुका है।