मुजफ्फरनगर: कॉलेज से आया पत्नी की बीएड की फीस का नोटिस तो पति ने लगा ली फांसी, पेड़ से लटका मिला शव
मुजफ्फरनगर। यूपी के मुजफ्फरनगर में अपनी पत्नी की बीएड की रुकी हुई दो साल की फीस न जमा कर पाने के कारण परेशान युवक ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। दरअसल, कॉलेज प्रशासन की ओर से फीस जमा करने का नोटिस भेज दिया गया था। युवक लाख प्रयासों के बाद भी अपनी पत्नी की बीएड की फीस का इंतजाम नहीं कर पाया तो युवक ने जंगल में जाकर पेड़ पर फांसी का फंदा लगाकर आत्महत्या कर ली। करीब एक सप्ताह बाद युवक का शव पेड़ पर लटका मिला तो परिवार में कोहराम मच गया। पुलिस ने मौके पर पहुंचकर शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।
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28 अगस्त से लापता था संदीप
मामला जनपद मुजफ्फरनगर के थाना भोपा क्षेत्र के गांव छछरौली का है, जंहा संदीप पुत्र राजवीर 28 अगस्त को अपने घर से अचानक लापता हो गया। परिजनों द्वारा उसे काफी तलाशा गया, लेकिन उसका कोई सुराग नहीं लगा। 4 सितंबर को परिजनों को सूचना मिली की संदीप की साइकिल खेतों में पड़ी है। इसके बाद गांव के सैकड़ों लोग खेतों की ओर दौड़ पड़े, जहां खेतों के बीच में एक पेड़ पर एक लाश झूलती हुई दिखाई दी। जब ग्रामीण लाश के नजदीक पहुंचे तो मृतक की लाश पहचानने में एक मिनट भी नहीं लगा, जिसके बाद घटना की जानकारी पुलिस को दी गई। थाना भोपा पुलिस मौके पर पहुंच गई और मृतक के शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।
कॉलेज से आया पत्नी की फीस का नोटिस
मृतक के परिवार में कोहराम मच गया। सभी लोग संदीप की मौत को लेकर हैरान थे, लेकिन जब मृतक संदीप की पत्नी ने परिजनों को उसके कॉलेज से आया नोटिस दिखाया, जिससे वह बीएड कर चुकी है पूरा माजरा सबकी समझ में आ गया। मृतक संदीप की पत्नी रचना ने बताया कि उसने 2 साल पहले थाना छपार क्षेत्र के NH-58 स्थित एक कॉलेज से बीएड किया था। आर्थिक तंगी के कारण वह 2 साल की फीस जमा नहीं कर सकी, जिसके बाद जुलाई माह में कॉलेज प्रशासन की ओर से एक नोटिस भेजा गया। नोटिस में कहा गया कि अगर आपने 2 साल की फीस एक सप्ताह के अंदर नहीं जमा कराई तो आपके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
70 हजार रुपए इकट्ठा करने में जुट गया था संदीप
नोटिस को देखते ही परिवार में सन्नाटा पसर गया और दो वक्त की रोटी का इंतजाम करने वाला संदीप अपनी पत्नी की बीएड की फीस के लिए 70 हजार रुपए इकट्ठा करने में जुट गया। संदीप ने पल्लेदारी का काम शुरू कर दिया, लेकिन एक माह में भी संदीप पैसा नहीं जुटा पाया, जिसके बाद कॉलेज प्रशासन की तरफ से फिर फीस की मांग की गई, जिसमें 1 महीने का समय दिया गया। मगर एक माह में भी संदीप पैसों की व्यवस्था नहीं कर सका और कार्रवाई के डर से 28 अगस्त को घर से खेतों में जाकर फांसी लगा ली।
परिजनों ने कॉलेज प्रशासन को ठहराया जिम्मेदार
मृतक संदीप के परिजनों का आरोप है कि संदीप की मौत का जिम्मेदार एमआईटी कॉलेज प्रशासन है। वहीं, ग्राम प्रधान छछरौली अनुज पहलवान ने भी चेतावनी दी है कि यदि प्रशासन आरोपी कॉलेज प्रशासन के खिलाफ कार्रवाई नहीं करता तो वह आंदोलन के लिए मजबूर होंगे। इस मामले में एमआईटी कॉलेज के लीगल एडवाइजर सुधीर कुमार गुप्ता ने बताया कि उन्होंने कानूनी रूप से उन्हें पत्र लिखा था कि उनकी फीस जमा नहीं है वह फीस जमा करा दें, जिसमें उन्होंने समय मांगा था। मगर फीस जमा नहीं करा सके उनकी तरफ से कोई दबाव नहीं था। अगर पैसे नहीं दे सकते थे तो कॉलेज प्रशासन को सूचित कर सकते थे मगर उन्होंने ऐसा भी नहीं किया।
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