महाराष्ट्र में सरकार बनाने के लिए भाजपा फिर शिवसेना से हाथ मिलाने को तैयार
नई दिल्ली- महाराष्ट्र को लेकर भाजपा की ओर से एक बहुत बड़ा बयान आया है कि पार्टी वहां शिवसेना के साथ हाथ मिलाने को फिर से तैयार है। हालांकि, अबकी बार पार्टी ने कुछ शर्तें भी रखी हैं। यह बयान महाराष्ट्र भाजपा अध्यक्ष चंद्रकांत पाटिल की ओर से आया है। दरअसल, दो दिन पहले ही मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने कहा था कि राज्य सरकार तीन पहियों पर चल रही है, जिसकी स्टियरिंग उनके हाथों में है। लेकिन, सीएम ठाकरे के बयान के बाद एनसीपी नेता ने ट्विटर पर एक तस्वीर डालकर राज्य की राजनीति की सरगर्मियां बहुत बढ़ा दी हैं, जिसमें गाड़ी वो चला रहे हैं और मुख्यमंत्री उनकी बगल वाली सीट पर बैठे हुए हैं।
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भाजपा फिर शिवसेना से हाथ मिलाने को तैयार
महाराष्ट्र के उप मुख्यमंत्री और एनसीपी के बड़े नेता अजित पवार के एक सांकेतिक ट्वीट के बाद महाराष्ट्र की राजनीति नई करवट लेती दिख रही है। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष चंद्रकांत दादा पाटिल ने शिवसेना से फिर से गठबंधन को लेकर बयान देकर नई बहस छेड़ दी है। उन्होंने कहा है कि भाजपा राज्य में फिर से शिवसेना के साथ गठबंधन करने के लिए तैयार है। गौरतलब है कि 2019 का विधानसभा चुनाव भाजपा-शिवसेना ने साथ मिलकर चुनाव लड़ा था, लेकिन चुनाव के बाद शिवसेना मुख्यमंत्री पद को लेकर अड़ गई, जिसके चलते 25 साल पुराना गठबंधन टूट गया और शिवसेना ने उद्धव ठाकरे को मुख्यमंत्री बनाने की शर्तों पर कांग्रेस और एनसीपी के साथ हाथ मिला लिया।
साथ में नहीं लड़ेंगे चुनाव- भाजपा
अब बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष चंद्रकांत पाटिल ने मीडिया का सामने ऐलान किया है राज्य के कल्याण के लिए उनकी पार्टी आज भी शिवसेना के साथ हाथ मिलाने को तैयार है। हालांकि, इसके लिए उन्होंने यह शर्त रखी है कि भारतीय जनता पार्टी शिवसेना के साथ मिलकर चुनाव नहीं लड़ेगी। पाटिल ने कहा कि अगर केंद्रीय नेतृत्व कोई फॉर्मूला देता है और मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे उस फॉर्मूले पर राजी हो जाते हैं तो वह शिवसेना के साथ हाथ मिला लेगें। हालांकि, उन्होंने यह कहकर तंज भी कसा कि शिवसेना सातवें आसमान पर है, इसलिए लगता नहीं कि वह साथ आने को तैयार होगी। वैसे अपनी पुरानी सहयोगी से हाथ मिलाने के बारे में वे बोले, 'अगर हमलोग साथ आ भी जाते हैं तो मुख्यमंत्री के पद के बारे में फैसला केंद्रीय नेतृत्व लेगा।' यही नहीं उन्होंने शिवसेना को यह भी याद दिलाने की कोशिश की कि, 'साथ में चुनाव लड़ना और फिर अवसरवादी राजनीति करना सही नहीं है। यह कैसे चलेगा जब कम सीट रहने पर भी कोई सत्ता में बराबर की हिस्सेदारी की मांग करेगा।'
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महाराष्ट्र में कौन चला रहा है सर'कार' ?
असल में महाराष्ट्र भाजपा नेता के इस बयान को उपमुख्यमंत्री अजित पवार के सोमवार वाले ट्वीट से जोड़कर देखा जा रहा है। वैसे तो यह ट्वीट मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को उनके जन्मदिन की शुभकामनाएं देने के लिए था। लेकिन, उसमें जो तस्वीर डाली गई थी, वह सीधे-सीधे उनपर डिप्टी सीएम का कटाक्ष लग रहा था। इस तस्वीर में सीएम और डिप्टी सीएम एक गाड़ी में बैठे हैं, जिसकी स्टियरिंग शरद पवार के भतीजे अजित पवार के हाथों में है। जबकि ठीक एक दिन पहले उद्धव ठाकरे ने एक इंटरव्यू में दावा किया था कि महा अघाड़ी की सरकार ऑटो रिक्शा की तरह तीन पहियों की सरकार है, जिसकी स्टियरिंग उनके पास है। लेकिन, पवार ने जो तस्वीर लगाई उसमें स्टियरिंग ठाकरे के पास न होकर उनके हाथों में है। तब से इसके बड़े राजनीतिक मायने निकाले जा रहे हैं।
अपने दम पर बने सरकार- नड्डा
वैसे भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने सोमवार को प्रदेश वर्किंग कमेटी की एक वर्चुअल मीटिंग को संबोधित करते हुए कार्यकर्ताओं से अपील की थी कि वह सुनिश्चित करें कि महाराष्ट्र में अपने दम पर बीजेपी की सरकार बने। इस बैठक में चंद्रकांत पाटिल के अलावा पूर्व मुख्यमंत्री और विधानसभा में विपक्ष के नेता देवेंद्र फडणवीस, केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर और पीयूष गोयल के अलावा पार्टी के राष्ट्रीय सह-संगठन मंत्री वी सतीश जैसे नेता भी मौजूद थे।
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