5 बाराती लेकर पहुंचा दूल्हा, कोरोना के डर से फेरे करवाने कोई पंडित नहीं आया, जानिए फिर कैसे हुई शादी
शाजापुर। कोरोना के बढ़ते संक्रमण के कारण देशभर में लॉकडाउन है। सब अपने-अपने घरों में हैं। सोशल डिस्टेंसिंग का भी हर कोई ख्याल रख रहा है। लॉकडाउन के दौरान तय अधिकांश शादियां टाल दी गई, मध्य प्रदेश के शाजापुर में एक शादी है, जिसमें ना बैंड बाजा था ना नाचते-गाते बाराती और ना ही सात फेरों के लिए पंडित।
हुआ यूं कि लॉकडाउन घोषित होने से पहले मध्य प्रदेश के शाजापुर के काछीवाड़ा क्षेत्र में रहने वाली भावना की शहर के ही चंदन से शादी तय हुई थी। लग्न महूर्त निकाला जा चुका था। पत्रिका छप चुकी थी और दूल्हा-दुल्हन को हल्दी लगना शुरू हो चुकी थी। ऐसे में पंरपरा और मान्यताओं के चलते दोनों परिवार इस समारोह को रोक नहीं सकते थे।
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तय किया कि यह शादी तो होगी पर सब कुछ चंद लोगों के बीच सरकारी नियमों का पालन करते हुए करना है। दूल्हे चंदन की बारात पांच लोगों के साथ निकली, वो भी सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए। इस बारात में न बैंड बाजा था, न नाचते-गाते बाराती। जब बारात दुल्हन घर के पहुंची तो यहां भी मेहमानों के नाम पर सिर्फ दुल्हन के घर वाले मौजूद थे। यहां तक कि पड़ोसी भी अपने-अपने घरों से ही नजारा देखते रहे।
इन सब के बीच पता चला कि शादी करवाने के लिए कोई भी पंडित लॉकडाउन के कारण आने को तैयार नहीं हुआ। बस फिर क्या था, तमाम कठिनाइयों के बीच बेहद कम रीति-रिवाजों के साथ इन दोनों ने एक-दूसरे को जयमाला पहनाई और एक दूसरे का हाथ थाम लिया।