जितिन प्रसाद पर भड़के कांग्रेस कार्यकर्ता, लगाए मुर्दाबाद के नारे, पार्टी से निकालने को लिखा पत्र
लखीमपुर खीरी। सोनिया गांधी को पत्र लिखकर कांग्रेस नेताओं ने संगठन में ऊपर से नीचे तक बड़े बदलाव की मांग की थी। उसमें उत्तर प्रदेश के पूर्व केंद्रीय मंत्री जितिन प्रसाद के भी हस्ताक्षर थे। वहीं, अब उत्तर प्रदेश कांग्रेस में दो फाड़ होती दिखाई दे रही है। दरअसल, 26 अगस्त, दिन बुधवार को प्रदेश के लखीमपुर खीरी जिले में पूर्व केंद्रीय मंत्री जितिन प्रसाद के खिलाफ पार्टी कार्यालय पर जमकर नारेबाजी की हुई। इतना ही नहीं, बैठक में कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने प्रसाद को पार्टी से निष्कासित करने के लिए आला अधिकारियों को पत्र भी लिखा।
लखीमपुर खीरी जिले में बुधवार को पूर्व सांसद जफर अली नकवी गुट के लोगों की ओर से धौरहरा लोकसभा क्षेत्र से पूर्व सांसद और पूर्व केंद्रीय मंत्री जितिन प्रसाद के खिलाफ पार्टी कार्यालय पर जमकर नारेबाजी की गई। कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने पूर्व केंद्रीय मंत्री जितिन प्रसाद पर न सिर्फ पार्टी विरोधी गतिविधियों में शामिल होने का आरोप लगाया है बल्कि उन्हें पार्टी से निकालने के लिए आला अधिकारियों को पत्र भी लिखा है।
बता दें कि पूर्व केंद्रीय मंत्री जितिन प्रसाद को लेकर बुलाई गई बैठक में कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने जिला और नगर अध्यक्ष की मौजूदगी में जमकर मुर्दाबाद के नारे लगाए। जबकि इस दौरान बैठक में सोनिया गांधी, राहुल गांधी और प्रियंका गांधी को लेकर कार्यकर्ताओं में एक अलग जोश दिखाई दिया।
पत्र
में
लिखी
ये
बातें
जिला
कांग्रेस
कमेटी
ने
पत्र
में
लिखा,
'सोनिया
गांधी
कांग्रेस
पार्टी
की
एकमात्र
सर्वमान्य
नेता
हैं।
अगर
कोई
बदलाव
होता
है
तो
हमें
राहुल
गांधी
पर
भरोसा
है,
उन्हें
अध्यक्ष
बनाया
जाए।
इसके
अलावा
सोनिया
गांधी
की
कार्यक्षमता
पर
उंगली
उठाने
वालों
की
कांग्रेस
में
कोई
आस्था
नहीं
है
जैसे
बात
लिखी
गयी
हैं
और
नेताओं
के
बयानों
को
बीजेपी
की
नकल
करार
दिया
है।
इसके
अलावा
पत्र
में
प्रसाद
को
लेकर
कई
और
बातें
लिखी
गयी
हैं।
'गांधी
परिवार
के
खिलाफ
रहा
प्रसाद
का
परिवार'
लखीमपुर
खीरी
के
कांग्रेस
जिलाध्यक्ष
प्रह्लाद
पटेल
ने
कहा
कि
जितिन
प्रसाद
को
पार्टी
से
निष्कासित
किया
जाए।
उनका
कहना
है
कि
उत्तर
प्रदेश
में
पूर्व
मंत्री
जितिन
प्रसाद
का
पारिवारिक
इतिहास
गांधी
परिवार
के
खिलाफ
रहा
है।
जितिन
के
पिता
जितेंद्र
प्रसाद
ने
भी
सोनिया
गांधी
के
खिलाफ
चुनाव
लड़
कर
इसका
संकेत
दिया
था।