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'जमीयत-ए-उलेमा हिंद' ने रमजान के महीने में मस्जिदों में लाउडस्पीकर बजाने पर लगाई रोक

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Kanpur News, कानपुर। हिंदुस्तान के प्रमुख इस्लामिक संगठन 'जमीयत-ए-उलेमा हिंद' ने रमजान के महीने में मस्जिदों में लाउडस्पीकर का गैर जरूरी इस्तेमाल करने पर रोक लगा दी है। संगठन ने रोजा न रखने वालों की नींद में खलल न डालने का फरमान सुनाया है। यह फरमान कानपुर में आहूत संगठन की प्रदेश स्तीय बैठक में जारी किया गया।

 मजिस्जदों पर न बजाया जाये लाउडस्पीकर

मजिस्जदों पर न बजाया जाये लाउडस्पीकर

कानपुर में जमीयत-ए-उलेमा की राज्य स्तरीय बैठक में तय किया गया कि आगामी 6 मई से शुरू होने जा रहे माह-ए-रमजान में मस्जिदों से अल-सुबह होने वाले ऐलानों की लगातार रिकार्डिंग न बजायी जायें। जमीयत के सूबाई सदर मौलाना मतीन-उल-हक उसमा कासिमी ने साफ-साफ कहा कि सुबह शहरी के वक्त मस्जिदों के लाउडस्पीकर से आवाज बुलंद कर लोगों को जगाया जाता है। अक्सर इसके लिये रिकार्डिंग लगा दी जाती है और ये सहरी का वक्त खत्म होने तक बजती रहती है।

दो बार किया जाये ऐलान

दो बार किया जाये ऐलान

मौलाना ने कहा कि इससे बूढ़े, बीमार और रोजा न रखने वालों की नींद भी खराब होती है। जबकि उचित ये होगा कि सहरी के लिये मस्जिद से एक या दो बार ही ऐलान कर दिया जाय। जमीयत-ए-उलेमा हिन्द के इस फैसले पर अगर अन्य इस्लामिक संगठनों ने विरोध नहीं किया और इस नई शुरूआत को अपना समर्थन दे दिया तो निश्चित ही सभी कौमों के सामने इस्लाम की इन्सानी जज्बे वाली छवि उभरेगी।

देवबंदी उलेमाओं ने किया समर्थन

देवबंदी उलेमाओं ने किया समर्थन

देवबंदी आलिम मुफ्ती असद कासमी इत्तेहाद उलेमा हिंद जमीयत उलेमा हिंद के इस ऐलान का पूरा-पूरा समर्थन करते हैं। मैं आप लोगों को मीडिया के माध्यम से यह भी बता देना चाहता हूं कि हमारे तंजीम इत्तेहाद उलेमा-ए-हिंद ने आज से 1 हफ्ते पहले मीडिया के माध्यम से हिंदुस्तान कि मस्जिदों के उलेमाओं को यह बताने की कोशिश की है कि कोई भी माइक के ऊपर रिकॉर्डिंग ना लगाए। साथ ही एक दो मर्तबा बोलकर बता दे इतना ही काफी है क्योंकि जैसा कि आप देख रहे हैं इस वक्त मुल्क के हालात क्या है। आज मुसलमानों को टारगेट और निशाना बनाया जा रहा है। कभी अजान के नाम पर टारगेट किया जाता है कभी तलाक के नाम पर, कभी हलाला के नाम पर। इन सभी चीजों को देखते हुए इत्तेहाद उलेमा ए हिन्द ने फैसला लिया है।

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English summary
jamiat e ulema hind stopped loudspeakers
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