चौबेपुर थाना शक के घेरे में, कानपुर IG ने कहा- दोषी मिले तो पुलिस वालों पर होगा हत्या का मुकदमा दर्ज
कानपुर। चौबेपुर थाना क्षेत्र के गांव बिकरू में आठ पुलिसकर्मियों की हत्या ने पूरे प्रदेश को हिला कर रख दिया है। वहीं, अब चौबेपुर थाने की भूमिका भी शक के घेरे में है। दरअसल, पुलिस को आशंका है कि चौबेपुर थाना अध्यक्ष विनय तिवारी ने ही मुखबिरी की है, जिसके बाद उसे निलंबित कर दिया गया था। इतना ही नहीं, एसटीएफ ने विनय तिवारी को हिरासत में लेकर पूछताछ कर रही है। वहीं, चौबेपुर थाना से ही बिजली कटवाने के लिए फोन किया गया, इस बात का खुलासा भी एसटीएफ की जांच में हुआ है।
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चौबेपुर थाना शक के घेरे में: IG
कानपुर आईजी मोहित अग्रवाल ने मीडिया को बताया कि विकास दुबे के सभी संभावित ठिकानों पर एसटीएफ और पुलिस छापेमारी कर रही है, जल्द ही उसे गिरफ्तार कर लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि अभी पूरा चौबेपुर थाना शक के घेरे में है। कितने पुलिसकर्मियों ने विकास दुबे से बात की, इस मामले की जांच चल रही है। आईजी ने कहा कि अगर किसी पुलिस कर्मी की भूमिका सामने आई तो उसे किसी कीमत पर बख्शा नहीं जाएगा, उन पर पुलिसकर्मियों की हत्या करने के आरोप में कार्रवाई की जाएगी, 307 का मुक़दमा दर्ज़ किया जाएगा और बर्ख़ास्त भी होंगे।
विकास दुबे पर इनाम बढ़ाने का भेजा प्रस्ताव
कानपुर आईजी मोहित अग्रवाल ने बताया कि दुर्दांत अपराधी विकास दुबे पर एक लाख रुपए से भी ज्यादा का इनाम बढ़ाने के लिए प्रस्ताव भेजा गया है। हाल ही में विकास के ऊपर इनाम की राशि 50 हजार रुपए से बढ़ाकर एक लाख रुपए की गई थी। इतना ही नहीं, पुलिस ने वारदात में शामिल अन्य 18 आरोपियों पर 25-25 हजार का इनाम रखा था। लेकिन विकास दुबे पुलिस के हाथ नहीं लगा सका है। 56 घंटे से ज्यादा का समय बीते के बाद उसके ऊपर इनाम की राशि और बढ़ाई जा सकती है।
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पुलिस ने ही दी थी विकास दुबे को सूचना: दया शंकर
दया शंकर अग्निहोत्री को पुलिस ने मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार किया है। दया शंकर के पैर में गोली लगी है, जिसके बाद उसे इलाज के लिए जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया है। जिला अस्पताल में भर्ती दया शंकर ने मीडिया से बातचीत में बताया कि दबिश की सूचना पुलिस की तरफ से ही मिली थी। उसने बाते कि थाने से एक फोन आया था, जिसके बाद विकास दुबे ने अपने साथियों को असलहे के साथ बुलाया था। दयाशंकर ने बताया कि उस वक्त घर में एक ही असलहा था जो उसके नाम पर हैं। विकास दुबे ने उसी असलहे से गोली चलाई थी। गौरतलब है कि विकास दुबे के साथ फरार जिन 18 लोगों पर इनाम घोषित किया गया है, उसमें दयाशंकर का नाम पांचवें नंबर पर है। उस पर पुलिस ने 25 हजार का इनाम घोषित कर रखा था।
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