100 करोड़ की मालकिन गांव में कर रही खेती, बेचती है पशुओं का दूध, सम्पत्ति से खुद अनजान
जयपुर। राजस्थान की एक ग्रामीण महिला सौ करोड़ की मालकिन निकली है। पूरा मामला बेहद चौंका देने वाला है, क्योंकि पहाड़ियों से घिरे गांव में रहने वाली इस अरबपति महिला को खुद को पता तक नहीं कि इसके नाम पर कहां-कहां सम्पत्ति है। मामला राजस्थान के सीकर जिले के नीमकाथाना तहसील के गांव दीपावास निवासी संजू देवी मीणा से जुड़ा है।
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मीडिया रिपोर्टर्स के अनुसार राजस्थान आयकर विभाग ने मंगलवार को संजू देवी मीणा के नाम से जयपुर-दिल्ली हाइवे पर छह गांवों में खरीदी गई 64 बेनामी संपत्तियों को प्रोविजनल रूप से अटैच कर दिया है। इन जमीनों का बाजार मूल्य करीब 100 करोड़ रुपए बताया जा रहा है।
आयकर विभाग की कार्रवाई के बाद मामला उजागर
आयकर विभाग की कार्रवाई के बाद मीडिया जब गांव दीपावास पहुंची तो हकीकत कुछ और ही निकली। सौ करोड़ की जमीन की मालकिन संजू देवी यहां खेतीबाड़ी और पशुपालन से बच्चों को पालती मिली। संजू के तो यह भी नहीं पता कि उसके नाम पर कहां कहां जमीन खरीदी हुई है। दरअसल, संजू के पति नारूराम मुंबई काम करते थे। करीब दस साल पहले नारूराम की मौत हो गई। वर्ष 2006 में नारूराम अपनी पत्नी संजू को मुम्बई लेकर गए थे। बकौल, संंजू वह पढ़ी-लिखी नहीं है। मुम्बई में उसके कुछ दस्तावेजों पर अंगूठे लगवाए गए थे।
इन जगहों से खरीदी जमीन
बता दें कि राजस्थान के कूकस, हरवर, ढंड, खोरामीणा, नांगल तुर्कान और राजपुर खान्या आदि गांवों में वर्ष 2006 में खरीदी गई 36 हेक्टेयर जमीन के करीब 13 करोड़ का भुगतान हीरानंदानी ग्रुप की 'हेजलनट कंस्ट्रक्शन' ने किया था। जमीन खरीदने के लिए संजू देवी मीणा के नाम का इस्तेमाल किया गया। फिर जमीन को मुंबई निवासी चंद्रकांत मालवंकर के नाम पावर ऑफ अटॉर्नी करा ली गई।
हर माह खाते में आते हैं पांच हजार रुपए
संजू देवी ने मीडिया को बताया कि उसे जमीन खरीद के बारे में पता नहीं। वह तो अपने पशुओं का दूध बेचकर परिवार पाल रही हैा। इतना जरूर है कि हर माह खाते में घर खर्च के लिए पांच हजार रुपए कोई भेज रहा है। कौन व क्यों भेज रहा है। यह नहीं जानती। पति 2006 में जमीन खरीदने की बात कहकर मुम्बई जरूर ले गए थे।