मध्य प्रदेश पहुंचे शंकराचार्य ने भाजपा नेताओं और राम मंदिर को लेकर दिया बयान, कहा- देश गलत दिशा में जा रहा है
जबलपुर। मध्य प्रदेश के जबलपुर पहुंचे जगतगुरु स्वामी शंकराचार्य स्वामी स्वारूपानंद ने एक बड़ा बयान दिया है। पत्रकारों से बातचीत में शंकराचार्य ने कहा कि देश वर्त्तमान समय में गलत दिशा मे जा रहा है। जो राजनेता हैं वो अब समरसता के नाम पर समाज को बांट रहे हैं। समरसता को लेकर शंकराचार्य ने कहा कि दलित के नाम पर ये कानून बना दिया है कि अगर जाति से संबोधित किया जाए तो बिना विचार किए ही छह माह की सजा दे दी जाएगी। इसके लिए आपको समय भी नहीं मिलेगा कि आप अपना बचाव कर सके।
वादा पूरा करने के बजाय सरकार ने पटेल की प्रतिमा बनवाई
राम मंदिर को लेकर उन्होंने कहा कि अयोध्या मे राम मंदिर बनाने के लिए पूरे देश के लोग एकजुट हो गए। इसके लिए सरकार ने आश्वासन भी दिया कि जल्द ही राम जन्म भूमि पर ही राम मंदिर बनवाया जाएगा। पर अब जबकि सरकार को अपना वादा पूरा करने का समय आया तो जिस तरह से सरदार बल्लभ भाई पटेल की गुजरात मे प्रतिमा बनवाई गई है। अब सरकार सरयू नदी के किनारे भी भगवान राम की मूर्ती बनवाई जाएगी। स्वामी शंकराचार्य ने इस फैसले पर अपत्ति जताते हुए कहा कि जितना पैसा सरकार भगवान राम की मूर्ती बनवाने मे करेगी उतने पैसे मे अयोध्या में राम मंदिर बन सकता है।
योगी आदित्यनाथ के बयान पर जताई आपत्ति
जगतगुरु शंकराचार्य ने कहा कि सरकार भगवान राम की मूर्ति के लिए करीब 3000 करोड़ रूपए खर्च कर रही है। पर इतने पैसे मे अगर मंदिर बन सकता है, तो मूर्ति की जरूरत क्या है। शंकराचार्य ने राम मंदिर को लेकर अपनी प्रतिक्रिया दी है कि जिस तरह से 11 वी शताब्दी मे चाणक्य ने एक मंदिर का निर्माण किया था। उसी तरह से अयोध्या मे भगवान राम का मंदिर बनना चाहिए। इधर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अदित्यनाथ के इस बयान पर भी स्वामी शंकराचार्य ने अपनी अपत्ति जताई है, जिसमें कि योगी ने हनुमान जी को दलित बताया था। शंकराचार्य ने कहा कि जिस समय भारतीय जनता पार्टी बनी थी क्या उस समय हनुमान जी थे, पर अब भाजपा हनुमान जी का नाम लेकर अपनी पार्टी का नेता उन्हे बना रही है।
बाबरी मस्जिद तो कभी थी ही नहीं
वहीं अयोध्या मे स्थित बाबरी मस्जिद को लेकर स्वारूपानंद महाराज ने कहा कि वहां पर कभी भी बाबरी मस्जिद थी ही नहीं। उस स्थान पर पहले खंभे और मंगल कलश बना हुआ था, पर मस्जिद का नाम भाजपा और वीएचपी वालों ने कुछ इस तरह का नारा देकर बनाया है कि तेल लगाओ ड़ाबर का नाम मिटाओ बाबर का। मध्यप्रदेश में किसकी सरकार बन रही है, उस जवाब को लेकर शंकराचार्य ने कहा कि मैं इस विषय में कुछ नहीं कह सकता हूं, क्योकि चुनाव खत्म होने के बाद ही मैंने मध्यप्रदेश मे कदम रखा है। अंत में आरएसएस को लेकर भी उन्होंने कहा कि ये पहले से ही घोषित है कि संघ के कार्यक्रम में सरकारी कर्मचारी शामिल नहीं हो सकते हैं।
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