पुतिन के बाद रूस के 'दूसरे सबसे ताक़तवर' शख़्स मिख़ाइल मिशुस्तिन कौन हैं?
रूस को मिख़ाइल मिशुस्तिन के रूप में एक नया प्रधानमंत्री मिल गया है. इनके बारे में एक दिन पहले तक किसी ने शायद सोचा भी नहीं होगा. लंबे समय तक प्रधानमंत्री पद पर रहे और मौजूदा राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन का 'हमसाया' कहे जाने वाले दिमित्री मेद्वेदेव को जनता की नज़रों के सामने से हटाकर, उनकी जगह एक ऐसे शख़्स को दी गई है जिसके बारे में अब तक कम ही लोगों ने सुना है.
रूस को मिख़ाइल मिशुस्तिन के रूप में एक नया प्रधानमंत्री मिल गया है. इनके बारे में एक दिन पहले तक किसी ने शायद सोचा भी नहीं होगा.
लंबे समय तक प्रधानमंत्री पद पर रहे और मौजूदा राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन का 'हमसाया' कहे जाने वाले दिमित्री मेद्वेदेव को जनता की नज़रों के सामने से हटाकर, उनकी जगह एक ऐसे शख़्स को दी गई है जिसके बारे में अब तक कम ही लोगों ने सुना है.
बीते 48 घंटों में रूस में जो कुछ हो रहा है, उससे यह स्पष्ट हो गया है कि रूस के संविधान में बड़े बदलाव करके पुतिन ने परिवर्तन का दौर शुरू कर दिया है.
उनका पूरा प्लान क्या है और वे आगे क्या करने वाले हैं? इस बारे में तो अभी साफ़ तौर पर कुछ नहीं कहा जा सकता.
लेकिन मेद्वेदेव को पद से हटाकर उन्होंने यह संकेत ज़रूर दिया है कि वे उनकी नज़र से उतर चुके हैं.
रूस में मौजूद बीबीसी संवाददाता सारा रेन्सफ़ोर्ड कहती हैं कि मेद्वेदेव को हमेशा ही पुतिन का भरोसे वाला व्यक्ति माना गया. लेकिन रूस जिन आर्थिक समस्याओं का सामना आज कर रहा है, उनका इल्ज़ाम कहीं ना कहीं मेद्वेदेव पर डाला जा रहा है.
इस वर्ष राष्ट्र के नाम संदेश देते हुए पुतिन ने कहा भी कि "वे अमरीका और पश्चिम के अन्य देशों को तेवर दिखाने की जगह, रूस के सामाजिक कल्याण पर अपना ध्यान केंद्रित करना चाहते हैं."
माना जा रहा है कि इसीलिए एक नए चेहरे को सामने लाया गया है जिसके बारे में रूस का सरकारी मीडिया अच्छे-अच्छे संदेश प्रसारित कर रहा है.
लोगों को बताया जा रहा है कि मिख़ाइल मिशुस्तिन तजुर्बेकार हैं, क़ाबिल हैं और अर्थव्यवस्था से जुड़ी समस्याओं से निपटने में बढ़िया काम कर सकते हैं.
मिख़ाइल मिशुस्तिन - राजनीति के साधारण आदमी
रूस की राजनीति में 53 वर्षीय मिख़ाइल मिशुस्तिन का क़द बेहद मामूली रहा है.
लेकिन गुरुवार शाम को जब उनके नाम का प्रस्ताव रूसी संसद के निचले सदन में पहुँचा तो किसी एक सदस्य ने भी उनके ख़िलाफ़ वोट नहीं किया.
1966 में रूस के मॉस्को शहर में जन्मे मिख़ाइल एक प्रभावी टेक्नोक्रेट रहे हैं.
1998 के बाद वे रूस के टैक्स विभागों में कई महत्वपूर्ण पदों पर रहे और साल 2010 में उन्हें रूस की केंद्रीय टैक्स सर्विस का प्रमुख बनाया गया.
रूस की टैक्स प्रणाली को दुरुस्त करने के काम के लिए उनकी प्रशंसा की जाती रही है.
उनकी आधिकारिक बायोग्राफ़ी के अनुसार वे इकोनॉमिक्स में पीएचडी कर चुके हैं.
टेक्नोक्रेट और हॉकी प्लेयर
रूस की समाचार एजेंसी TASS के मुताबिक़ मिख़ाइल 90 के दशक में इंटरनेशनल कंप्यूटर क्लब नाम की एक कंपनी के लिए भी आईटी एक्सपर्ट के तौर पर काम कर चुके हैं जहाँ उनका काम 'महत्वपूर्ण पश्चिमी आईटी तकनीक़ों' को रूस में लेकर आना था.
मिख़ाइल मिशुस्तिन का मानना है कि आर्टिफ़ीशियल इंटेलिजेंस और डिजिटल तकनीकों को बढ़ावा दिया जाना चाहिए.
समाचार एजेंसी रॉयटर्स की रिपोर्ट के अनुसार पुतिन के साथ लंबे समय तक आइस-हॉकी खेल चुके मिख़ाइल मिशुस्तिन ने जल्द ही अपनी कैबिनेट के लोगों के नाम पर फ़ैसला लेने की बात की है.
मिख़ाइल मिशुस्तिन ने कहा है कि "वे मौजूदा व्यवस्था में और सरकारी ढांचे में कई बुनियादी बदलाव करने वाले हैं."
रूस के राजनीतिक विश्लेषक इस बात पर भी चर्चा कर रहे हैं कि मिख़ाइल मिशुस्तिन सिर्फ़ एक अस्थायी चेहरा हैं या फिर वाक़ई उन्हें इस महत्वपूर्ण पद पुतिन के राजनीतिक उत्तराधिकारी के तौर पर तैयार किया जाएगा?
रूस के सरकारी टीवी के अनुसार देश के व्यापारी समूहों में मिख़ाइल मिशुस्तिन एक सम्मानित नाम बताए जाते हैं.
मिख़ाइल रूस की 'आइस हॉकी फ़ेडरेशन' में सीनियर मेंबर हैं और पुतिन की 'नाइट हॉकी लीग' में भी खेलते रहे हैं.
रूस के बिज़नेस अख़बार 'वेदोमोस्ती' के अनुसार मिख़ाइल रूस के कई नामी गायकों के लिए गीत लिख चुके हैं. वे एक शौक़ीन म्यूज़िक कंपोज़र हैं.
विपक्ष के बड़े नेता रहे गेनेडी गुडकोव के अनुसार रूस के नए प्रधानमंत्री "बिना पहचान वाला एक ऐसा चेहरा हैं जिनकी कोई महत्त्वाकांक्षा नहीं है."
वहीं रूस के राजनीतिक विश्लेषक और पुतिन के पूर्व सलाहकार ग्लेब पावलोव्स्की ने कहा है कि वैश्विक परिप्रेक्ष्य में रूस के लिए मिखाइल मिशुस्तिन एक बेहतरीन नौकरशाह हैं.