दलाई लामा पर अगर कुछ बोला चीन तो अमेरिका लगा देगा बैन, कांग्रेस में पास हुआ बिल
वॉशिंगटन। अमेरिकी प्रतिनिधि सभा की तरफ से तिब्बत को लेकर बड़ा बिल पास हुआ है। इस बिल की वजह से चीन और अमेरिका के बीच नए सिरे से तनाव पैदा हो सकता है। इस नए बिल के तहत अमेरिका उन चीनी अधिकारियों को बैन कर देगा जो दलाई लामा के उत्तराधिकारी वाले मुद्दे में हस्तक्षेप करेंगे। दलाई लामा, चीन के निर्वासित अध्यात्मिक लीडर हैं जो तिब्बत में रहते हैं। जो बिल सभा में पास हुआ है उसे अमेरिकी कांग्रेस के जेम्स पी मैकगोवन की तरफ से लाया गया था। मैकगोवन, चीन पर बनी हाउस रूल्स कमेटी और कांग्रेसनल एग्जिक्यूटिव कमीशन के चेयरमैन हैं।
चीनी अधिकारियों पर लगेगा बैन
इस बिल के पक्ष में 322 वोट्स पड़े तो विरोध में 22 वोट दर्ज किए गए। अब इस बिल को अगर सीनेट की मंजूरी मिली तो फिर इसे साइन के लिए राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के पास भेजा जाएगा। बिल में चीन को अमेरिका में नए दूतावास खोलने की मंजूरी तब तक नहीं होगी जब तक अमेरिका को ल्हासा में दूतावास की मंजूरी चीन नहीं देता। बिल के मुताबिक तिब्बती बौद्ध नेता के उत्तराधिकार या फिर पुर्नजन्म जिसमें 15वें दलाई लामा का मसला भी शामिल है, पूरी तरह से एक धार्मिक मुद्दा माना गया है। बिल में कहा गया है कि इस मुद्दे को पूरी तरह से तिब्बत के बौद्ध समुदाय की तरफ से ही सुलझाया जाना चाहिए। कानून का जो मसौदा तैयार किया गया है, उसके मुताबिक दलाई लामा के मामले में हस्तक्षेप करने का दोषी पाए जाने पर किसी भी अमेरिकी की संपत्ति को सीज किया जा सकता है। साथ ही चीनी अधिकारी को भी अमेरिका आने से रोका जा सकता है। सदन को संबोधित करते हुए स्पीकर नैंसी पेलोसी ने कहा कि इस बिल के बाद चीन को स्पष्ट संदेश मिल जाएगा कि अगर उसने तिब्बत के धार्मिक या फिर सांस्कृतिक मामलों में हस्तक्षेप किया तो फिर उसे इसका दोषी ठहराया जाएगा।