अमेरिकी फिटनेस विशेषज्ञ ने अपने प्रतिद्वंद्वियों को परेशान करने के लिए बनाए 300 से अधिक फेक अकाउंट
फ्लोरिडा। अमेरिका में कुछ लोगों को 369 इंस्टाग्राम अकाउंट और करीब 18 ईमेल एड्रेस से धमकियां मिल रही थीं। लेकिन वो इस बात से बिल्कुल अंजान थे कि इन सभी अकाउंट को महज एक महिला ही नियंत्रित कर रही है।
इस मामले में एफबीआई एजेंट्स का कहना है कि फिटनेस ट्रेनर और चार बच्चों की मां टैमी स्टेफेन इन सभी अकाउंट का इस्तेमाल अपने पूर्व बिजनेस सहयोगी और बॉडी बिल्डिंग दुनिया के अपने प्रतियोगियों को परेशान करने के लिए कर रही थी।
स्टीफन ने एक संदेश में लिखा, "मैं तुम्हारे शरीर के छोटे-छोटे टुकड़े कर दूंगी।" शुक्रवार को 37 साल की इस आरोपी को पांच साल की जेल की सजा सुनाई गई है। उसपर साइबर स्टॉकिंग और ऑनलाइन धमकी भरे संदेश भेजने का आरोप लगा है। एफबीआई के विशेष एजेंट क्रिस्टिन रेहलर ने डब्ल्यूएफएलए को बताया "उसके अपराध की सीमा आश्चर्यजनक है।"
इस महिला ने तीन राज्यों में रहने वाले पांच लोगों को निशाना बनाया। उसने अपने पूर्व बिजनेस सहयोगी से बदला लेने की कोशिश के लिए एक बिना सिर वाली बेबी डॉल और एक नकली अपहरण योजना भी तैयार की। महिला का मानना है कि पूर्व बिजनेस सहयोगी ने उसके ऑनलाइन फिटनेस प्रतियोगिता जीतने के अवसरों को खत्म कर दिया है। जिसे अधिकारियों ने झूठ बताया है।
इन सबकी शुरुआत एक बिना सिर वाली गुड़िया से 9 जुलाई, 2019 को हुई। स्टीफन ने शैरिफ के ऑफिस में इस गुड़िया को छोड़ दिया। ये बात उसके खिलाफ दर्ज शिकायत में कही गई है। गुड़िया के अंदर लिखा था, "बच्चों के लिए नया खिलौना।" पांच दिनों बाद स्टेफन ने शैरिफ के ऑफिस में दोबारा फोन किया, इस बार उसने कहा कि उसकी खुद की (स्टीफन) बेटी को किसी ने अगवा करने की कोशिश की है। जबकि उस वक्त उसकी 12 साल की बेटी अपने कुत्ते को खाना खिला रही थी।
बच्ची पर उसने हमला भी किया। हालांकि वह सुरक्षित है। बच्ची ने अपने साथ हुई घटना के बारे में पुलिस को बता दिया। बाद में जांच की गई तो पता चला कि ये सब खुद स्टीफन ने ही किया है। स्टीफन को फेक पुलिस रिपोर्ट लिखवाने और अपनी ही बच्ची के साथ गलत व्यवहार करने पर 17 जुलाई को गिरफ्तार किया गया। उसने अपनी बेटी को भी पुलिस से झूठ बोलने को कहा। इसके बाद नवंबर में उसके लिए मुश्किलें और बढ़ गईं। तब उसपर लोगों को सैंकड़ो धमकी भरे संदेश भेजने का आरोप लगा। उसने पीड़ितों के परिवारों और पीड़ितों दोनों को जान से मारने की धमकी तक दी थी। उसे अपहरण के झूठे मामले में भी सजा मिली है।
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