यूके, जर्मनी और इटली में ओमिक्रॉन के मामलों का पुष्टि, इजराइल ने सीमाएं की बंद
नई दिल्ली, 28 नवंबर: चीन के वुहान से निकला कोरोना वायरस आज दो साल बाद भी काबू में आने का नाम नहीं ले रहा है। कोरोना के बदलते स्वरूप दुनिया की टेंशन बढ़ा रहे हैं। अब कोरोना के नए वैरिएंट ने देशों की चिंता बढ़ा दी है। दक्षिण अफ्रीका में मिला कोरोना के नया वैरिएंट ओमिक्रॉन (B.1.1.529) डेल्टा से भी ज्यादा खतरनाक है। WHO ने इस वैरिएंट को 'वैरिएंट ऑफ कंसर्न' की कैटेगरी में रखा है। इस बीच ब्रिटेन, जर्मनी और इटली ने शनिवार को कोरोना के ओमिक्रॉन (omicron) वैरिएंट के मामलों का पता लगा है, जिसके बाद ब्रिटिश प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने वायरस को रोकने के लिए नए प्रतिबंधों की घोषणा की है, जबकि ज्यादातर देशों ने ओमिक्रॉन की दशहत के बाद दक्षिण अफ्रीका से आने वाली यात्रियों पर रोक लगा दी है।
ब्रिटेन में पाए गए ओमिक्रॉन के दो केस
ब्रिटेन में पाए गए ओमिक्रॉन के दो जुड़े मामले दक्षिणी अफ्रीका की यात्रा से जुड़े थे, जिसकी जानकारी वहां के स्वास्थ्य मंत्री साजिद जाविद ने दी। ब्रिटिश पीएम बोरिस जॉनसन ने एक न्यूज कॉन्फ्रेंस में कहा, 'हमें ब्रिटेन में एंट्री करने वाले किसी भी व्यक्ति के आने के बाद दूसरे दिन के अंत तक आरटी-पीसीआर टेस्ट करने और निगेटिव टेस्ट आने तक सेल्फ आइसोलेट करने की जरूरत होगी।'
ब्रिटिश पीएम ने आगे कहा कि जो लोग ओमिक्रॉन के संदिग्धों के पॉजिटिव टेस्ट करने वाले लोगों के संपर्क में आए है, उन्हें 10 दिनों के लिए क्वारंटाइन करना होगा। साथ ही सरकार मास्क लगाने के नियमों को और सख्त करेगी, इसके तीन हफ्तों में आगे की कदमों की समीक्षा की जाएगी। इधर, इजराइल ने कहा कि वह देश में सभी विदेशियों की एंट्री पर बैन लगाएगा और वैरिएंट के प्रसार को रोकने के लिए आतंकवाद विरोधी फोन-ट्रैकिंग तकनीक को फिर से शुरू करेगा।
जर्मनी और इटली में भी दहशत
जर्मनी की बवेरिया स्टेट में स्वास्थ्य मंत्रालय ने वैरिएंट के दो मामलों की जानकारी दी है। दोनों लोगों ने 24 नवंबर को म्यूनिख एयरपोर्ट से जर्मनी में एंट्री की थी। मंत्रालय ने कहा कि लोगों ने बिना बताएं दक्षिण अफ्रीका से यात्रा की थी। वहीं इटली में मोजाम्बिक से आने वाले एक व्यक्ति में नए वैरिएंट की पुष्टि हुई है। चेक स्वास्थ्य अधिकारियों ने यह भी कहा कि वे नामीबिया में समय बिताने वाले व्यक्ति में वैरिएंट के एक संदिग्ध मामले की जांच कर रहे है।
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वैरिएंट की जानकारी में जुटे वैज्ञानिक
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) द्वारा ओमिकॉन को 'वैरिएंट ऑफ कंसर्न' करार दिया गया है। यह कोरोना के पिछले वैरिएंट की तुलना में संभावित रूप से अधिक संक्रामक है, हालांकि अभी इसके बारे में ज्यादा जानकारी जुटाई जा रही है। आपको बता दें कि वैरिएंट पहली बार दक्षिण अफ्रीका में खोजा गया था और तब से बेल्जियम, बोत्सवाना, इजराइल और हांगकांग में भी इसका पता चला था। वैरिएंट के म्यूटेशन को पूरी तरह से समझने में वैज्ञानिकों को हफ्तों लग सकते हैं और क्या मौजूदा टीके और उपचार इसपर प्रभावी हैं, इसके बारे में पता लगाया जा रहा है।