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इस्लामिक देशों के आगे गिड़गिड़ाते रहे पाकिस्तानी विदेश मंत्री, सऊदी अरब और ईरान ने कश्मीर पर ठुकराई अपील

पाकिस्तान ने ओआईसी देशों की कॉन्टेक्ट बैठक के दौरान बार बार इस्लामिक देशों से कश्मीर का मुद्दा यूएनजीए में उठाने की अपील की थी। लेकिन तुर्की को छोड़कर किसी भी देश ने पाकिस्तान की बात नहीं मानी।

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नई दिल्ली, सितंबर 24: यूनाइटेड नेशंस असेंबली में कश्मीर के मुद्दे पर पाकिस्तान को सिर्फ तुर्की का साथ मिला है और पाकिस्तान के दोस्तों ने भी यूनाइटेड नेशंस में उसे झटका दे दिया है। वहीं, इस्लामिक संगठन की बैठक के दौरान भी पाकिस्तान को कश्मीर के मुद्दे पर बड़ा झटका मिला है। ऑर्गेनाइजेशन ऑफ इस्लामिक कॉर्पोरेशन यानि ओआईसी में पाकिस्तान को ईरान और सऊदी अरब ने बड़ा झटका दे दिया है।

इस्लामिक दुनिया से थी उम्मीद

इस्लामिक दुनिया से थी उम्मीद

पाकिस्तान की सरकारी समाचार एजेंसी एपीपी की रिपोर्ट के मुताबिक, न्यूयॉर्क से ही वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने इस्लामिक सहयोग संगठन के कॉन्टैक्ट ग्रुप को संबोधित करते हुए कश्मीर का मुद्दा उठाया। पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने अपने संबोधन के दौरान कहा कि कश्मीर में लोगों के साथ जुल्म हो रहा है और उनकी उम्मीद सबसे ज्यादा अब सिर्फ ओआईसी और इस्लामिक दुनिया से है। ओआईसी कॉन्टेक्ट ग्रुप को संबोधित करते हुए पाकिस्तानी विदेश मंत्री ने अनुरोध करते हुए कहा कि इस्लामिक देश कश्मीर का मुद्दा संयुक्त राष्ट्र महासभा, मानवाधिकार परिषद समेत सभी मंचों से उठाएं। इसके साथ ही शाह महमूद कुरैशी ने कश्मीर को लेकर भारत के खिलाफ जमकर जहर उगला और कहा कि कश्मीर में फर्जी एनकाउंटर में लोग मारे जा रहे हैं। (तस्वीर- सऊदी विदेश मंत्री के साथ पाकिस्तान के विदेश मंत्री)

ओआइसी से पाकिस्तान को झटका

ओआइसी से पाकिस्तान को झटका

पाकिस्तान के विदेश मंत्री ने राजनीतिक बंदियां बनाने और लोगों पर पैलेन गन का इस्तेमाल करने का आरोप लगाकर भारत को घेरने की कोशिश की, लेकिन बीबीसी की रिपोर्ट के मुताबिक, ओआईसी के देशों ने पाकिस्ता की बात मानने से इनकार कर दिया। बीबीसी के मुताबिक, पाकिस्तान को कश्मीर के मुद्दे पर ओआईसी के सदस्य देशों से बड़ा झटका लगा है। पाकिस्तान उम्मीद कर रहा था कि इस्लामिक देश संयुक्त राष्ट्र महासभा के मंच पर कश्मीर का मुद्दा काफी जोर-शोर से उठाएंगे, लेकिन सऊदी अरब और ईरान ने पाकिस्तान की बात मानने से साफ इनकार कर दिया।

सऊदी-ईरान ने दिया झटका

सऊदी-ईरान ने दिया झटका

बीबीसी की रिपोर्ट के मुताबिक, पाकिस्तान के कहने पर तुर्की ने भले ही कश्मीर का मुद्दा संयुक्त राष्ट्र महासभा में उठाया हो, लेकिन तुर्की का रूख भी इसबार पिछले साल की तुलना में कश्मीर को लेकर काफी नरम था। लेकिन, पाकिस्तान को सबसे बड़ा झटका तब लगा जब सऊदी अरब के किंग सलमान बिन अब्दुल्लाजीज ने बुधवार को संयुक्त राष्ट्र की आम संभा को संबोधित करने के बाद कश्मीर का एक बार भी नाम नहीं लिया। इससे पहले ईरान के नये राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी ने भी यूनाइटेड नेशंस जनरल एसेंबली को संबोधित किया था, लेकिन उन्होंने भी ना एक शब्द कश्मीर को लेकर बोला और ना भी भारत को लेकर।

पाकिस्तान में ही उठे सवाल

पाकिस्तान में ही उठे सवाल

रिपोर्ट के मुताबिक, इस्लामिक देशों से भी साथ नहीं मिलने के बाद अब सऊदी अरब को लेकर काफी सवाल उठ रहे हैं। बीबीसी के मुताबिक, भारत में पाकिस्तान के उच्चायुक्त रह चुके अब्दुल बासित ने भी कश्मीर के मुद्दे पर सऊदी अरब के पूरी तरह से चुप रह जाने और कश्मीर मुद्दे की उपेक्षा कर देने को लेकर सवाल उठाया है। अब्दुल बासित ने ये भी कहा कि अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन ने भी दुनियाभर में मानवाधिरों पर हो रहे जुल्म का मुद्दा उठाया, लेकिन उन्होंने भी कश्मीर को लेकर एक शब्द भी नहीं कहा है। पाकिस्तान के पूर्व उच्चायोग ने सऊदी अरब और पाकिस्तान के संबंधों का हवाला देते हुए कहा कि सऊदी अरब में पाकिस्तान के 20 लाख से ज्यादा लोग रहते हैं और दोनों देशों के बीच काफी अच्छे संबंध रहे हैं, फिर भी सऊदी अरब ने कश्मीर का जिक्र तक नहीं किया।

कश्मीर से पल्ला झाड़ते इस्लामिक देश

कश्मीर से पल्ला झाड़ते इस्लामिक देश

आपको बता दें कि कश्मीर को लेकर अब इस्लामिक देशों की राय साफ बदलती नजर आ रही है। ओआईसी में रस्मी तौर पर कश्मीर का बस जिक्र ही किया जाता है। जबकि, अंतर्राष्ट्रीय मंचों पर पाकिस्तान की सुर में अभी तक सिर्फ तुर्की और मलेशिया ही बोलता आया है। महातिर मोहम्मद अब मलेशिया के प्रधानमंत्री पद से हट चुके हैं और नये प्रधानमंत्री की प्राथमिकता भारत के साथ अच्छे संबंध बनाने की है और नये प्रधानमंत्री ने अपने एजेंडे से कश्मीर को निकाल दिया है, वहीं तुर्की के राष्ट्रपति एर्दोआन का इस बार कश्मीर को लेकर सुर बदला बदला नजर आया था। पिछली बार तुर्की के राष्ट्रपति ने कश्मीर से भारत सरकार द्वारा हटाए गये अनुच्छेद 370 का जिक्र किया था, लेकिन इस बार उन्होंने अनुच्छेद 370 पर कुछ नहीं कहा और उन्होंने कश्मीर विवाद संवादों के जरिए सुलझाने की बात कही है। ऐसे में लग ऐसा ही रहा है कि इस्लामिक देशों ने पाकिस्तान को कश्मीर पर अब अकेला छोड़ दिया है।

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English summary
Saudi Arabia and Iran refused to raise the issue of Kashmir in the meeting of the United Nations General Assembly, giving a big blow to Pakistan.
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