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भारत के खिलाफ एक अलग युद्ध छेड़ रहा पाकिस्तान

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नई दिल्ली। जब से इमरान खान की सरकार बनी है, तब से भारत ने पाकिस्तान को तवज्जो देनी बिल्कुल बंद कर दी है। यही वजह है कि इमरान खान सरकार लगातार भारत को उकसाने वाली हरकतें कर रहा है। पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह मेहमूद कुरैशी एक के बाद एक जम्मू कश्मीर के हुर्रियत नेताओं को फोन पर बात कर ब्रिटेन पार्लियामेंट में एक कश्मीर इवेंट की योजना बना रहे हैं। हालांकि, भारत के खिलाफ पाकिस्तान का यह पारंपरिक युद्ध का हिस्सा है, जो इमरान खान की सरकार आने के बाद गति पकड़ चुका है। भारत के आंतरिक मसलों में पाकिस्तान की फितरत सिर्फ घाटी तक ही सीमित नहीं है, बल्कि अमेरिका, ब्रिटेन और कनाडा में सिख फॉर जस्टिस (SFJ) जैसे अभियानों को भी हवा देकर भारत के साथ पक्की दुश्मनी वाले रिश्ते निभा रही है इमरान सरकार।

 भारत के खिलाफ एक अलग युद्ध छेड़ रहा पाकिस्तान

सूत्रों की मानें तो इमरान खान के सत्ता में आने के बाद भारत विरोधी अभियानों को गति मिली है, लेकिन यह पाकिस्तान का दुर्भाग्य ही है कि उन्हें अंतरराष्ट्रीय समुदाय से समर्थन नहीं मिल पा रहा है। पाकिस्तान के खालिस्तान और कश्मीर मुद्दे बिल्कुल बहरे हो चुके हैं, जिन्हें सुनने में किसी को भी दिलचस्पी नहीं है, लेकिन उसके बावजूद भी कई द्विपक्षीय और बहुपक्षीय स्तरों पर इस तरह की नाकाम कोशिश दिखती रही है। पाकिस्तान की विदेश नीति पर गहराई से नजर रहे सूत्रों की मानें तो इस बार लंदन में कुरैशी कश्मीर मुद्दा उठाने जा रहे हैं, लेकिन ब्रिटेन को इसमें इसमें जरा सी भी दिलचस्पी नहीं है।

कुरैशी खुद को कश्मीर मुद्दे का चैंपियन मानते हैं। सूत्रों ने दावा किया कि वह 26/11 के आतंकवादी हमलों के दौरान भारत में ही थे और बाद में उन्होंने भारतीय समकक्षों को तुरंत खुद को पाकिस्तान पहुंचाने के लिए कहा था। कश्मीर पाक विदेश नीति का अभिन्न अंग है और भारत के साथ संबंध कुरैशी के पोर्टफोलियो का हिस्सा हैं। पिछले साल, पाक विदेश मंत्री ने अपनी पहली प्रेस मीटिंग में स्पष्ट किया था कि इस्लामाबाद की बाहरी नीति पर उनकी मुहर होगी। कुरैशी को अक्सर पाकिस्तान के पीएम-इन-वेटिंग के रूप में बताया जाता रहा है।

इस वक्त अफगानिस्तान में पाकिस्तान खुद को एक प्रमुख डीलमेकर के रूप में देख रहा है। लेकिन जब एक बार काबुल से अमेरिकी सेना पूरी तरह से लौट जाएगी, उसके बाद पाकिस्तान अपने सीमित सोर्स और लड़खड़ाती अर्थव्यवस्था के कैसे पश्चिमी और पूर्वी सीमाओं पर नजर रखेगा, यह देखने वाली बात होगी।

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English summary
Pakistan indulging in a different warfare
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