उत्तर कोरिया की अमरीका को दो टूक-नहीं बदलेंगे अपना रुख
व्हाइट हाउस की प्रवक्ता सारा सैंडर्स के मुताबिक अमरीका वापसी के दौरान ट्रंप ने विमान से ही जापान के प्रधानमंत्री शिंजो आबे और दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति मून जे इन से करीब 15-15 मिनट बात की.
इसी विमान में सवार अमरीकी विदेश मंत्री माइक पोम्पियो ने कहा कि उन्हें भरोसा है कि दोनों देशों के अधिकारी बहुत देर होने के पहले ही बातचीत को दोबारा बहाल करेंगे.
उत्तर कोरिया के विदेश मंत्री री योंग ने कहा है कि अगर अमरीका अगले दौर की बातचीत की पेशकश करता है तब भी उनके देश के रुख में बदलाव नहीं होगा.
उत्तर कोरिया के विदेश मंत्री योंग वियतनाम में अमरीकी राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रंप और उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग उन की शिखर वार्ता के बाद मीडिया से बात कर रहे थे. ट्रंप और किम की बातचीत गुरुवार को बिना किसी समझौते के खत्म हो गई.
ट्रंप के मुताबिक अमरीका ने उत्तर कोरिया की ओर से की गई सभी प्रतिबंध हटाने की मांग को नामंजूर कर दिया.
लेकिन, देर रात मीडिया से बात करते हुए उत्तर कोरिया के विदेश मंत्री योंग ने कहा कि उत्तर कोरिया ने प्रतिबंधों को पूरी तरह ख़त्म करने की मांग नहीं की थी बल्कि उनमें आंशिक राहत देने की बात की थी.
री योंग ने कहा कि उनके देश ने 'वास्तविक' प्रस्ताव रखे थे. इनमें यंगबिंयग परमाणु अनुसंधान केंद्र को अमरीकी पर्यवेक्षकों की निगरानी में पूरी तरह बंद करने का प्रस्ताव शामिल था.
उन्होंने कहा, " उत्तर कोरिया और अमरीका के बीच मौजूदा दौर में भरोसे के स्तर को देखते हुए ये प्रस्ताव परमाणु हथियार हटाने के लिए फिलहाल सबसे बड़ा उपाय था."
री योंग ने आगे कहा कि इसके बदले उत्तर कोरिया प्रतिबंधों में आशिंक ढील की मांग कर रहा था. इन प्रतिबंधों की वजह से "नागिरक अर्थव्यवस्था और हमारे लोगों के जीवन पर चोट पहुंच रही है."
उन्होंने ये भी बताया कि उत्तर कोरिया ने परमाणु और लंबी दूरी के रॉकेटों के परीक्षण पर स्थायी रोक लगाने का प्रस्ताव भी रखा था. उत्तर कोरिया के विदेश मंत्री ने कहा कि आगे हनोई शिखर सम्मेलन जैसा दूसरा अवसर मिलना मुश्किल दिखता है.
री योंग ने कहा, "अगर अमरीका भविष्य में दोबारा बातचीत का प्रस्ताव रखता है तब भी हमारे सैद्धांतिक रुख में बदलाव नहीं आएगा और हमारे प्रस्ताव कभी नहीं बदलेंगे."
ट्रंप और किम की मुलाक़ात बेनतीजा ख़त्म
ट्रंप ने क्या कहा?
ये माना जा रहा था कि शिखर वार्ता के बाद ट्रंप और किंग जोंग उन कोरियाई प्रायद्वीप से परमाणु हथियार हटाने के मामले में हुई प्रगति की जानकारी देंगे और समझौते पर दस्तखत करेंगे.
लेकिन बातचीत के बाद ट्रंप ने कहा, "तमाम बातें महज प्रतिबंधों को लेकर थीं. वो चाहते थे कि प्रतिबंध पूरी तरह हटा दिए जाएं और हम ऐसा नहीं कर सकते."
ट्रंप ने आगे कहा, "कई बार आपको चल देना पड़ता है और ये ऐसा ही मौका था."
बाद में ट्रंप ने जापान और दक्षिण कोरिया को भरोसा दिलाया कि उत्तर कोरिया के साथ बातचीत आगे भी जारी रहेगी.
व्हाइट हाउस की प्रवक्ता सारा सैंडर्स के मुताबिक अमरीका वापसी के दौरान ट्रंप ने विमान से ही जापान के प्रधानमंत्री शिंजो आबे और दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति मून जे इन से करीब 15-15 मिनट बात की.
इसी विमान में सवार अमरीकी विदेश मंत्री माइक पोम्पियो ने कहा कि उन्हें भरोसा है कि दोनों देशों के अधिकारी बहुत देर होने के पहले ही बातचीत को दोबारा बहाल करेंगे.
किम जोंग-उन और ट्रंप की नक़ल करने वाले गिरफ़्तार क्यों हुए
वापस स्कूल जाओ: अमरीकी जासूसों से ट्रंप