London Bridge Attack: पाकिस्तान से है आतंकी उस्मान का कनेक्शन, PoK में टेरर कैंप खोलना था सपना
लंदन। ब्रिटेन के एतिहासिक लंदन ब्रिज पर हुए आतंकी हमले में अब तक दो लोगों की मौत हो चुकी है। शुक्रवार को हुए इस हमले में अब पाकिस्तान का कनेक्शन सामने आ रहा है। बताया जा रहा है कि हमले को पाकिस्तानी मूल के नागरिक 28 साल के उस्मान ने अंजाम दिया है। ब्रिटिश मीडिया की मानें तो उस्मान का नाम पुलिस के लिए नया नहीं है बल्कि पहले भी उसका नाम आतंकी वारदातों में सामने आ चुका है। जिन दो लोगों की मौत हुई है उसमें एक महिला और पुरुष शामिल हैं।
पाकिस्तान में गुजरा ज्यादा समय
स्कॉटलैंड यार्ड की तरफ से उस्मान खान का नाम सार्वजनिक किया गया है। उस्मान, पाकिस्तान का रहने वाला है। साल 2012 में उसे लंदन स्टॉक एक्सचेंज को बम से उड़ाने की साजिश के तहत गिरफ्तार किया गया था। उसके पास से जो टारगेट लिस्ट स्कॉटलैंड यार्ड को मिली है उसमें उसने क्रिसमस के मौके पर प्राइम मिनिस्टर बोरिस जॉनसन के घर के अलावा अमेरिकी दूतावास और लंदन स्टॉक एक्सचेंज पर हमला करने की तैयारी की थी। उस्मान ने अपनी किशोरावस्था का एक बड़ा हिस्सा पाकिस्तान में गुजारा और उसने स्कूल के बीच में ही पढ़ाई छोड़ दी थी।
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पीओके में मस्जिद के सामने टेरर कैंप
वह अपनी बीमार मां के साथ पाकिस्तान में रहता था। उसने पीओके में उस जमीन पर आतंकी कैंप्स खोलने की प्लानिंग भी की थी जिस पर उसके परिवार का मालिकाना हक है। वह एक मस्जिद के सामने टेरर कैंप खोलने की तैयारी में था और साथ ही क्षेत्र में शरिया लॉ लागू करना चाहता था। 2012 की आतंकी साजिश में उसे सजा सुनाई गई थी। अप्रैल 2013 में उसे कोर्ट ने 16 साल की सजा सुनाई थी। लेकिन फिर से घटाकर आठ साल कर दिया गया था।
टैग के बाद भी आतंकी हमले को दिया अंजाम
उस्मान ने हमले के समय एक नकली सुसाइड बेल्ट पहनी हुई थी।पिछले वर्ष दिसंबर में लाइसेंस पर जेल से रिहा किया गया था। उस्मान, स्टैफोर्डशायर का रहने वाला था। यहां पर स्थित उसके घर पर छापा मारा गया है। यूके आने के बाद उसने चरमपंथी इस्लाम के बार में लोगों को बताना शुरू कर दिया था और ऑनलाइन को प्रभावित करने की कोशिश करता था। लंदन के असिस्टेंट कमिश्नर नील बासु ने बताया है कि उस्मान के टखने पर एक इलेक्ट्रॉनिक मॉनिटरिंग टैग भी बांधा गया था। उन्होंने यह जानकारी भी दी कि वह क्रैम्ब्रिज यूनिवर्सिटी के क्रिमिनोलॉजी डिपार्टमेंट की तरफ से एक सेमिनार को भी अटैंड कर चुका था।
मुंबई आतंकी हमलों से था प्रभावित
उस्मान खान ने अल कायदा के कुछ आतंकियों के साथ दोस्ती भी की थी। इस गैंग ने साल 2010 में बिग बेन, वेस्टमिंस्टर एबे, वेस्टमिंस्टर पैलेस और लंदन आई पर हमले की साजिश रची थी। उस्मान लंदन को 26/11 मुंबई आतंकी हमलों की स्टाइल में दहलाना चाहता था। उस्मान को पुलिस ने ढेर कर दिया है। लंदन ब्रिज पर हमला ऐसे समय हुआ है जब तीन हफ्तों पहले ही ब्रिटेन ने राष्ट्रीय आतंकवाद के खतरे को 'गंभीर' के स्तर से कम करके 'पर्याप्त' कर दिया गया था। साल 2014 के बाद से इसे निम्नतम किया गया था।