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दानिश सिद्दीकी को मस्जिद से पकड़ने के बाद तालिबान ने क्या-क्या किया, अफगान फौज ने किया खुलासा

भारतीय पत्रकार दानिश सिद्दीकी को तालिबान ने जिंदा पकड़ा था, अफगान सेना का बहुत बड़ा खुलासा।

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नई दिल्ली, अगस्त 02: अफगानिस्तान में रिपोर्टिंग पर गये भारतीय पत्रकार दानिश सिद्दीकी की मौत से अब तमाम राज हट गये हैं। अफगान फौज ने ना सिर्फ इस बात की पुष्टि कर दी है कि दानिश सिद्दीकी की हत्या तालिबान ने की थी, बल्कि अफगान फौज ने ये भी बताया है कि उस रात आखिर हुआ क्या था। पुलित्जर अवार्ड विजेता भारतीय पत्रकार दानिश सिद्दीकी के साथ उस रात जो सब हुआ था, वो रोंगटे खड़े करने वाले हैं, साथ ही बताने के लिए काफी है तालिबान कितना क्रूर है।

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Danish Siddiqui की Taliban ने कैसे की हत्या, Afghan Army ने किया खुलासा | वनइंडिया हिंदी
अफगान फौज का खुलासा

अफगान फौज का खुलासा

दानिश सिद्दीकी की तालिबान द्वारा हत्या किए जाने की पहली आधिकारिक पुष्टि करते हुए अफगान सुरक्षा बलों के प्रवक्ता ने इंडिया टुडे टीवी को बताया कि पुलित्जर विजेता भारतीय फोटो जर्नलिस्ट दानिश सिद्दीकी को तालिबान ने ही मारा था। उन्होंने कहा कि तालिबान ने दानिश सिद्दीकी को पकड़ लिया और मार डाला, जिसे पहली बार तालिबान और अफगान बलों के बीच गोलीबारी में हुई मौत कहकर रिपोर्ट किया गया था। अफगान नेशनल डिफेंस एंड सिक्योरिटी फोर्सेस (ANDSF) के प्रवक्ता अजमल उमर शिनवारी ने पहली बार आधिकारिक पुष्टि करते हुए कहा कि दानिश सिद्दीकी को 'गिरफ्तार' किया गया था या पकड़ लिया गया था और बाद में उन्हें मार दिया गया था।

गवाहों की तलाश जारी

गवाहों की तलाश जारी

अफगानिस्तान सेना के प्रवक्ता ने इंडिया टुडे टीवी को बताया कि, ''जिस क्षेत्र में भारतीय पत्रकार की हत्या की गई है, वो क्षेत्र तालिबान के नियंत्रण में है, लिहाजा गवाहों को खोजने में समय लग रहा है।' पिछले हफ्ते अमेरिका स्थित वाशिंगटन एक्जामिनर पत्रिका की एक रिपोर्ट में पहली बार दावा किया गया था कि दानिश सिद्दीकी अफगानिस्तान में गोलीबारी में नहीं मारे गए थे, बल्कि तालिबान ने पकड़ने के बाद उनकी क्रूरता हत्या कर दी थी। आपको बता दें कि 38 वर्षीय दानिश सिद्दीकी अफगानिस्तान में समाचार एजेंसी रॉयटर्स के लिए काम पर थे, जब उनकी हत्या कर दी गई। पुलित्जर पुरस्कार विजेता पत्रकार दानिश की कंधार शहर के स्पिन बोल्डक जिले के एक मस्जिद से तालिबान ने पकड़ा था और पहचान पूछने के बाद उनकी हत्या की गई थी।

सारे आतंकी गुट अफगान में एक्टिव

सारे आतंकी गुट अफगान में एक्टिव

अफगान सेना के प्रवक्ता अजमल उमर शिनवारी ने इंडिया टूडे से बात करते हुए कहा कि ''लश्कर-ए-तैयबा, इस्लामिक स्टेट/दाएश, अल-कायदा, इस वक्त तमाम आतंकी संगठन अफगानिस्तान में सक्रिय हैं और कई आतंकवादी और लश्कर के लड़ाके पाकिस्तान से आ रहे हैं।" अफगान सेना ने देश के लोगों से अपील करते हुए कहा है कि ''अफगानिस्तान के हित के लिए देश के सभी लोगों को मजबूती के साथ अफगानिस्तान आर्मी के साथ खड़ा होना चाहिए''। उन्होंने कहा कि ''अफगान सेना मजबूत है और तालिबान को अफगानिस्तान को अपने कब्जे में नहीं लेने देगी।"

कौन थे दानिश सिद्दीकी ?

कौन थे दानिश सिद्दीकी ?

आपको बता दें कि दानिश सिद्दीकी ने 2018 में रोहिंग्या संकट की अविश्वसनीय तरीके से कवरेज किया था, जिसके लिए उन्हें विश्व प्रतिष्ठित पुलित्जर पुरस्कार दिया गया था। उन्होंने अफगानिस्तान संघर्ष, हांगकांग विरोध और एशिया, मध्य पूर्व और यूरोप की अन्य प्रमुख घटनाओं को व्यापक रूप से कवर किया था। अप्रैल और मई महीने के दौरान जब भारत में कोरोना वायरस जमकर कहर बरपा रहा था, उस वक्त उनकी खींची तस्वीरों ने कोरोना वायरस से परेशान भारत के चेहरे को पूरी दुनिया के सामने रखा था। खासकर सैकड़ों जलती चिताओं और प्रयागराज में गंगा किनारे लावारिश पड़े शवों की तस्वीर ने भारत समेत पूरी दुनिया में तहलका मचाकर रख दी थी।

तालिबान ने कैसे ली दानिश की जान?

तालिबान ने कैसे ली दानिश की जान?

रिपोर्ट बनाने वाले राइटर माइकल रूबीन ने दानिश के उस वीडियो को देखा है, जो उन्हें भारत सरकार के अधिकारियों से मिली है। इसके साथ ही उन्होंने दानिश सिद्दीकी के आखिरी वक्त की कुछ तस्वीरों को भी देखा है, जिसमें दिखाया गया है कि तालिबान ने दानिश सिद्दीकी को पकड़ने के बाद उनके सिर में बुरी तरह से मारा था। उनके सिर के चारों तरह पीटा गया और फिर उन्हें गोलियों से छलनी कर दिया गया। आपको बता दें कि तालिबान एक बार फिर से युद्द के नियमों का जमकर उल्लंघन कर रहा है और हत्या करने बाद वो शव को बुरी तरह से क्षत- विक्षत कर दे रहा है। तालिबान ना तो वैश्विक नियमों को मान रहा है और ना ही अंतर्राष्ट्रीय कानूनों को, लिहाजा तालिबान की सख्त आलोचना की जा रही है।

भारतीय जानकर उतारा मौत के घाट

भारतीय जानकर उतारा मौत के घाट

अमेरिकन रिपोर्ट में दावा किया गया है कि तालिबान के आतंकियों ने जिस वक्त दानिश को पकड़ा था, वो जिंदा थे और पूरी तरह से ठीक थे। जिसके बाद तालिबान के आतंकियों ने उनकी पहचान पूछी। जैसे ही दानिश ने खुद को भारतीय बताया, ठीक वैसे ही तालिबान के आतंकियों ने उनकी हत्या कर दी। रिपोर्ट के मुताबिक अफगानिस्तान के तीन सैनिकों ने दानिश को बचाने की कोशिश की थी, लेकिन तालिबान ने उनकी भी हत्या कर दी। आपको बता दें कि स्थानीय रेडक्रॉस की मदद से दानिश के शव को भारत लाया गया और जामिया मिलिया इस्लामिया के कब्रिस्तान में उन्हें दफनाया गया।

जिस कलाकार ने जिंदगी भर हंसाया, तालिबान ने उसे रुला-रुला कर मारा, बेरहमी का वीडियो वायरलजिस कलाकार ने जिंदगी भर हंसाया, तालिबान ने उसे रुला-रुला कर मारा, बेरहमी का वीडियो वायरल

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English summary
Indian journalist Danish Siddiqui was caught alive by the Taliban, a big disclosure by the Afghan army.
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