बिडेन बोले- तिब्बत मामले पर चीन को बख्शा नहीं जाएगा, दलाई लामा से करूंगा मुलाकात
नई दिल्ली। अमेरिका में नवंबर में होने वाले राष्ट्रपित चुनाव को लेकर दुनिया के सबसे शक्तिशाली देश में राजनीतिक पार्टियां वोटरों को लुभाने में लगी हुई हैं। वर्तमान राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप को डेमोक्रैटिक पार्टी के राष्ट्रपति उम्मीद जो बिडेन से टक्कर मिलने वाली है। अमेरिका में जैसे-जैसे चुनाव नजदीक आ रहा है वैसे-वैसे चीन का मुद्दा भी तूल पकड़ता जा रहा है। डॉनल्ड ट्रंप की तरह जो बिडेन भी चीन से कुछ ज्यादा ही नाराज नजर आ रहे हैं। अपने एक बयान में उन्होंने तिब्बत पर पकड़ मजबूत करने की चीन की विस्तार योजना की कड़ी आलोचना की है।
डेमोक्रेटिक राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार जो बिडेन ने कहा है कि राष्ट्रपति बनने के बाद वह दलाई लामा से मिलेंगे और तिब्बत मामले पर चीन को बख्शा नहीं जाएगा। अगर वो सत्ता में आते हैं तो तिब्बत में मानवाधिकारों के हनन के लिए जिम्मेदार चीनी अधिकारियों को प्रतिबंधित करेंगे। बिडेन ने राष्ट्रपति ट्रंप पर आरोप लगाते हुए कहा कि उन्होंने तिब्बत में चीनी कार्रवाइयों पर मौन धारण रखा और उन्होंने खाली व्यापार सौदे पर ध्यान केंद्रीत करने के बजाए चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग के साथ अपनी को और मजबूत करने में लगे रहे।
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बिडेन ने आगे कहा, एक राष्ट्रपति के रूप में मैं अमेरिकी विदेश नीति के केंद्र में मूल्यों को वापस केंद्र में रखूंगा। चीन के खिलाफ कड़े शब्दों बोलते हुए उन्होंने कहा, मैं तिब्बत से निष्कासित धर्म गुरू दलाई लामा से भी मुलाकात करूंगा और तिब्बत मामलों के लिए एक नया विशेष समन्वयक नियुक्त करूंगा। बिडेन ने आगे कहा कि नामांकित व्यक्ति ने तिब्बती नेता से मिलने के लिए ट्रंप ने अभी तक नहीं बुलाया है। यह बहुत ही आश्चर्यजनक है, हालांकि यह आश्चर्य की बात नहीं है कि तीन दशकों में ट्रम्प पहले अमेरिकी राष्ट्रपति हैं जिन्होंने परम पावन दलाई लामा के साथ मुलाकात या बातचीत नहीं की है।