भारत ने दाऊद इब्राहिम को बताया लश्कर और जैश जितना खतरनाक, UN से की कार्रवाई की मांग
न्यूयॉर्क। भारत ने अमेरिका के न्यूयॉर्क स्थित यूनाइटेड नेशंस के हेडक्वार्टर पर वॉन्टेड अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम के केस का जिक्र किया। मंगलवार को यूएन हेडक्वार्टर पर यूएन की सिक्योरिटी काउंसिल (यूएनएससी) के सत्र के दौरान भारत के स्थायी प्रतिनिधि सैयद अकबरुद्दीन ने यूएनएससी को बताया कि आतंकवाद और अपराध एक साथ जारी हैं। भारत के मुताबिक इनमें अंतर करना अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा के लिए एक बड़ा खतरा भी हो सकता है। अकबरुद्दीन ने यूएनएससी को साफ किया कि किस प्रकार से डी कंपनी की अपराधियों से सांठगांठ अब खतरनाक आतंकी नेटवर्क में तब्दील हो गई है।
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दाऊद के खिलाफ एक्शन की मांग
अकबरुद्दीन, यूएन में भारत के राजदूत भी हैं। उन्होंने यूएनएसी में पाकिस्तान का नाम लिए बगैर कहा, 'वह एक सुरक्षित ठिकाने से सोने की तस्करी, जाली मुद्रा, हथियार और ड्रग्स तस्करी जैसे कारोबार करता है, पर वह देश अपने यहां उसकी मौजूदगी से भी इनकार करता है। अकबरुद्दीन ने यह बात उस समय कही जब वह यूएनएससी में अंतरराष्ट्रीय अपराध और आतंकवाद से जुड़े विषय पर जारी बहस में बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि डी कंपनी की गतिविधयां जैश-ए-मोहम्मद और लश्कर-ए-तैयबा जैसे आतंकी संगठनों जैसी हो गई हैं और इसलिए इन सभी को नष्ट करने के लिए सामूहिक प्रयास किए जाने की जरूरत है। अकबरुद्दीन ने यूएनएससी के प्रयासों की तारीफ करते हुए कहा कि संगठित प्रयास बताने के लिए काफी हैं कि कैसे इराक में आईएसआईएस को कमजोर किया गया है। इसी तरह का खतरा दाऊद इब्राहिम और उसकी डी कंपनी भी है।
25 मिलियन डॉलर का ईनाम
डॉन दाऊद इब्राहिम साल 1993 में हुए मुंबई ब्लास्ट के सिलसिले में वॉन्टेड है। इन हमलों में 200 से ज्यादा लोगों की मौत हो गई थर और कई लोग घायल हुउ थे। भारत के साथ ही साथ अमेरिका ने भी उसे ग्लोबल टेररिस्ट घोषित किया हुआ है। उसके सिर पर 25 मिलियन डॉलर का ईनाम रखा गया है। हाल में आई खुफिया रिपोर्ट में इस बात की पुष्टि भी हुई थी कि दाऊद, पाकिस्तान में ही है। लेकिन पाक बार-बार उसके होने से इनकार कर देता है। इस समय दाऊद की उम्र करीब 51 वर्ष है और उसे पिछले कई सालों से देखा नहीं गया है।