देवयानी की गिरफ्तारी कि बाद भारत-अमेरिका के बीच बढ़ी तकरार
इसके मुताबिक, भारतीय विदेश सचिव सुजाता सिंह ने दिल्ली में अमेरिकी राजदूत नैंसी पॉवेल के सामने खोब्रागेड के साथ हुए बर्ताव का मुद्दा मजबूती से उठाया है। भारतीय उप महावाणिज्यदूत खोब्रागेड (39) को वीजा धोखाधड़ी और झूठा बयान देने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था। आरोप साबित हो जाने पर उन्हें दोनों मामलों में क्रमश: 10 और पांच साल कारावास की सजा हो सकती है। मैनहटन फेडरल कोर्ट ने उनको 250,000 डॉलर की जमानत पर रिहा कर दिया।
दूतावास
के
मुताबिक,
संधू
ने
कहा
कि
खोब्रागेड
एक
राजनयिक
हैं,
वह
अमेरिका
में
अपने
काम
को
लेकर
हैं
और
एक
राजनयिक
होने
के
नाते
वहां
शालीन
व्यवहार
की
हकदार
हैं।
वक्तव्य
के
मुताबिक,
"वह
दो
छोटे
बच्चों
की
मां
हैं।
अमेरिकी
प्रशासन
द्वारा
उनके
अपमान
से
भारत
हैरान
और
दुखी
है।"
संधू
ने
यह
भी
कहा
है
कि
इस
तरह
का
व्यवहार
नहीं
स्वीकारा
जाएगा
और
अमेरिकी
विदेश
मंत्रालय
इस
मुद्दे
को
जल्द
सुलझाए।
इससे पहले, सुजाता सिंह ने पावेल को बुलावा भेज कर कहा कि खोब्रागेड के साथ किया गया व्यवहार अस्वीकार्य है। इधर, कानूनविदों का कहना है कि खोब्रागेड मामले में कूटनीतिक अधिकार काम नहीं करेगा, क्योंकि विएना संधिपत्र में वाणिज्य दूतावास के अधिकारी द्वारा किए जाने वाले गैर कूटनीतिक कार्य को शामिल नहीं किया गया है।