25 सांसदों ने ट्रंप से की भारत की तरह टिकटॉक बैन की अपील, भारत सरकार के फैसले को बताया असाधारण
वॉशिंगटन। भारत ने पिछले दिनों टिकटॉक समेत चीन की 59 एप्स को प्रतिबंधित कर दिया है। अब अमेरिका पर भी इसी तरह के कदम उठाने का दबाव बढ़ने लगा है। राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की रिपब्लिकन पार्टी के 25 प्रभावशाली सांसदों ने उनसे अनुरोध किया है कि जिस तरह से भारत ने एप्स को बैन किया है, उसी तरह से इन्हें अमेरिका में भी बैन किया जाए। इन सांसदों का कहना है कि टिकटॉक की प्राइवेसी पॉलिसी, अमेरिकी नागरिकों के डाटा कलेक्ट करके उसे चाइनीज कम्युनिस्ट पार्टी (सीसीपी) के साथ साझा करती है।
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भारत ने उठाया है असाधारण कदम
रिपब्लिकन पार्टी के सांसदों ने राष्ट्रपति ट्रंप से बताया कहा है कि भारत ने एक असाधारण कदम उठाते हुए राष्ट्रीय सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए 60 चीनी एप्स को बैन कर दिया है। इन सांसदों ने राष्ट्रपति को जो चिट्ठी लिखी है उसमें प्रशासन से समर्थन मांगा गया है। इसमें कहा गया है कि टिकटॉक और दूसरे सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स सीसीपी से जुड़े हैं और इनकी उपलब्धता अमेरिकी बाजारों तक है। इन सांसदों ने आरोप लगाया है कि ये लोकप्रिय एप्स डाटा कलेक्शन को अंजाम दे रही हैं और चीन की साइबर सिक्योरिटी कानून से बंधे हुए है। इस कानून के तहत हर वह कंपनी जो चीन में ऑपरेट कर रही है, जिसमें टिकटॉप की मालिकाना हक वाली बाइटडांस भी शामिल है, उसे सीसीपी अथॉरिटीज के साथ डाटा शेयर करना पड़ा है।
अमेरिका की सुरक्षा पर खतरा चीनी एप्स
सांसदों का मानना है कि इस वजह से ही अमेरिका की राष्ट्रीय सुरक्षा पर बड़ा खतरा पैदा हो गया है। इसमें लिखा है, 'हम आपके प्रशासन से अपील करते हैं कि वह अमेरिकी नागरिकों की निजता और सुरक्षा की रक्षा में एक निर्णायक फैसला ले।' कांग्रेस सदस्य केन बक ने लिखा है, 'जून में भारत ने राष्ट्रीय सुरक्षा के चलते एक असाधारण कदम उठाते हुए 60 चीनी एप्स को बैन कर दिया है जिसमें टिकटॉक भी शामिल है। सीसीपी की तरफ से एक सिस्टम के तहत यूजर के डाटा को कलेक्ट करने और गैर-कानूनी तरीके से इसे सरकार के मकसद के लिए ट्रांसमिट किया जाता है और यह भारतीय उपभोक्ताओं के लिए कोई नई बात नहीं है।' उन्होंने कहा है कि हकीकत में चीनी अथॉरिटीज वर्तमान समय में अमेरिकी उपभोक्ता तक मौजूद असीमित उपलब्धता का फायदा उठा रही हैं। सरकारी डाटा को देश की एडवांस्ड माइनिंग पॉलिसीज के तहत मुहैया कराया जा रहा है।